Haryana News: बहादुरगढ़ के सिविल अस्पताल में बड़ा घोटाला सामने आया है. पिछले करीबन 3 साल से ये घोटला यूं ही चला आ रहा है. ये घोटाला है कौशल रोजगार निगम का. दरअसल, बहादुरगढ़ के सिविल अस्पताल में कौशल रोजगार निगम के तहत एक डाटा इंट्री ऑपरेटर और कौशल रोजगार निगम के तहत कर्मचारियों को देख रहा ड्यूटी डॉक्टर घोटाले के मास्टरमाईंड बताए जा रहे हैं.


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आरोप है कि डाटा इंट्री ऑपरेटर मोहित के माता, पिता, जीजा, बहन और मामा-मामी भी सिविल अस्पताल में कार्यरत दिखाए गए हैं. जबकि वो कभी भी हॉस्पिटल में आए ही नहीं है. हॉस्पिटल में काम करने के लिए केवल डाटा इंट्री ऑपरेटर ही आता रहा. यहां तक की हर महीने बनने वाली सैलरी स्टेटमैंट सीट पर भी सुपरवाइजर की जगह आरोपी की दस्तखत करता रहा.


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हाल फिलहाल इसका खुलासा हॉस्पिटल के ही एक डॉक्टर की शिकायत पर हुआ है, लेकिन इससे पहले भी सचिन नाम का युवक सीएम विंडो से लेकर सीएमओ तक इस घोटाला की शिकायत कर चुका है. शिकायतकर्ता सचिन मलिक का तो आरोप ये भी है कि करीबन 20 फर्जी कर्मचारी कौशल रोजगार निगम के तहत हॉस्पिटल में कार्यरत दिखाए गए हैं जबकि वो आते ही नहीं.


तो वहीं, इस घोटाले के सामने आने के बाद हॉस्पिटल प्रशासन में हडकंप मच गया है. आनन-फानन में जांच कमेटी बना दी गई है. हॉस्पिटल की पीएमओ डॉ. मंजू का कहना है कि जांच रिपोर्ट आने के बाद कार्यवाही की जाएगी. कौशल रोजगार निगम में समाहित होने से पहले नागरिक हॉस्पिटल में ठेकेदार के तहत कर्मचारी रखे गए थे. उस वक्त भी फर्जी कर्मचारी दिखाकर सरकारी पैसे का गलत इस्तेमाल किया गया था.


फिलहाल, इस मामले में जांच शुरू हो गई है और अब जांच के बाद ही खुलासा हो पाएगा की घोटाला कितना बड़ा है. वैसे लोगों का मानना है कि जांच हॉस्पिटल की जांच कमेटी की बजाए किसी दूसरी सरकारी एजेंसी से करवाई जानी चाहिए.


(इनपुटः सुमित कुमार)