विनोद लांबा/चंडीगढ़(अंबाला): हरियाणा के गृह व स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि मीडिया एक आईना है, उसको वही दिखाना और प्रकाशित करना चाहिए, जो वास्तविकता है. उन्होंने कहा कि आज के वक्त की सबसे बड़ी जरूरत है प्रजातंत्र को जिंदा रखना और इस लक्ष्य के तहत मीडिया को अपना दायित्व निभाना है. यह अभिव्यक्ति गृहमंत्री ने आज अंबाला शहर में मीडिया वेलबिंग एसासिएशन हरियाणा द्वारा आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्यअतिथि अपने संबोधन  में कही.


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इस मौके पर उन्होंने एसोसिएशन की तरफ से प्रथम सूची के तहत 46 पत्रकारों की 10 लाख रुपये की दुर्घटना मृत्यु बीमा पॉलिसी भी उन्हें वितरित की. यह पॉलिसी एसोसिएशन द्वारा अपने स्तर पर करवाई गई है. यहां पंहुचने पर एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने मुख्य अतिथि को पुष्पगुच्छ, स्मृति चिन्ह व शॉल भेंट कर उनका भव्य अभिनंदन भी किया. गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने इस मौके पर मीडिया वेलबिंग एसोसिएशन के गठन की स्थापना होने पर बधाई दी.


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बधाई देते हुए उन्होंने कहा कि एसोसिएशन द्वारा जो नाम रखा गया है, उसमें सकारात्मक विचारों की ब्यार बहती है, समाज में जो नकारात्मकता फैली हुई है, ऐसे कार्यक्रम व संस्थाओं द्वारा इस प्रकार के कार्यक्रम करना पूरे देश का वातावरण बदल देती हैं. उन्होंने कहा कि जब देश आजाद हुआ तो सबसे पहले यही बात रखी गई कि हमारी शासन पद्धति कैसी हो. उस वक्त राजशाही थी और प्रजातंत्र भी था, सबका विचार करने के उपरांत उस वक्त के नेताओं ने देश में प्रजातंत्र को स्वीकार किया.


प्रजातंत्र के चार स्तम्भ, जिनमें कार्यपालिका, न्यायपालिका, विधानपालिका और मीडिया शामिल


प्रजातंत्र के चार स्तंभ हैं, जिनमें कार्यपालिका, न्यायपालिका, विधानपालिका और मीडिया शामिल है. इनके उपर शासन  पद्धति टिकी हुई है. इनमें से एक भी स्तंभ यदि कमजोर होगा तो प्रजातंत्र कमजोर हो जाता है.


तानाशाहीपूर्ण रवैये से सरकारों को चलाया जा रहा


गृह मंत्री अनिल विज ने कहा कि अगर आज गौर करें तो इस प्रजातांत्रिक व्यवस्था का ढांचा कहीं न कहीं ढोल रहा है. उन्होंने कहा आज विशेषकर हमारे देश में कई पार्टियां है, प्रजातांत्रिक है जिनमें भाजपा शामिल है, कुछ पारिवारिक और कुछ गैंग्स है जो देश को लूटने के लिए बने हैं. हमारा प्रजातांत्रिक ढांचा बिगड़ रहा है. जो पारिवारिक पार्टियां है इनमें प्रजातंत्र का कोई मूल्य नहीं है और अधिक से अधिक तानाशाहीपूर्ण रवैये से सरकारों को चलाया जा रहा है.


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पीप्ल रिप्रेजेंटेशन एक्ट की तब्दीली के बाद से मुख्यमंत्री ज्यादा तानाशाह हुए


विशेष तौर से राजीव गांधी के समय से जब उन्होंने पीप्ल रिप्रेजेंटेशन एक्ट को तब्दील करके दल-बदल होता था उसे खत्म करने के लिए जो कानून लाया उसके बाद मुख्यमंत्री ज्यादा तानाशाह हो गए. राजीव गांधी राजनीतिज्ञ नहीं, एक पायलट थे, उन्हें राजनीति विषय पर प्रतिक्रिया का एहसास नहीं था. उन्होंने दल-बदल का ईलाज किया, मगर उसके साथ पचास समस्याएं और खड़ी हो गई. आज लोगों की जो सोच व जरूरतें है आज वह सरकारों में जाकर उनकी सोच को पहुंचा नहीं सकते.


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उन्होंने कहा कि किसी तानाशाह के हाथ में देश आ गया तो क्या होगा आपने देखा. मगर उसका विधायक दल गलत काम करता है तो जनता उसको सजा देती है, यदि उसका मुखिया गलत काम करता है तो जनता उसे सजा देती है. मगर आज जनता सजा नहीं दे सकती और आपको सहना और झेलना पड़ेगा. यदि दल बदल कानून लागू ही करना था तो यह करना चाहिए था कि जो जिस दल से खड़ा है वह अपना दल बदल नहीं सकता.


प्रजातंत्र को मजबूत करने व सहेजने के लिए मीडिया की बहुत बड़ी भूमिका


विज ने अपने बयान में आगे कहा कि पहले मुख्यमंत्री विधायकों से पूछकर सुनते थे, मगर आज आपका व्हिप जारी होता है, अगर आपका किसी विषय पर मत अलग है तो आप उसे व्यक्त नहीं कर सकते, जो व्हिप जारी होगा वहीं आपको बोलना और हाथ खड़ा करना पड़ेगा, ऐसी परिस्थितियों में प्रजातंत्र कहा है. आप लोग प्रजातंत्र के प्रहरी है और आपके हाथ में छडी है. आपको इस प्रजातंत्र को मजबूत करने व सहेजने के लिए इस व्यवस्था को सफलतापूर्व चलाने के लिए आपकी बहुत बड़ी भूमिका निभानी है.


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उन्होंने आगे कहा कि पार्टियां आपस में मिल सकती है और मिट्टी डाल सकती हैं. मगर मीडिया एक आईना है और उसे जो दिखता है वो दिखाता है. उन्होंने यह भी कहा कि सत्तापक्ष क्या कह रहा है, विपक्ष क्या कह रहा है, समाज से जुड़ी हर खबर को आपको लोगों तक पंहुचाना हैं. समाचार पत्र में वही दिखाना है, जो वास्तविक है. चारों दिशाओं के समाचार पत्र आप अपने तंत्र के माध्यम से समाचारों में प्रकाशित करते हैं.


पक्ष और विपक्ष कुछ भी कह सकता है मगर खबरों को सही रूप से प्रकाशित करना मीडिया का काम


गृहमंत्री ने यह भी कहा कि मैने एमरजेंसी के भी हालात देखे हैं, उस समय की परिस्थितियों में भी पत्रकारों ने अपनी दायित्व को बखूबी से निभाया है. इंडियन एक्सप्रेस की बिल्डिंग को जला दिया गया था तथा पंजाब केसरी कार्यालय की लाइट बंद कर दी गई थी. ऐसे समय में पंजाब केसरी समूह के सम्पादक ने ट्रैक्टर की लाइट के माध्यम से खबरों को प्रकाशित करवाने का काम किया था.


उन्होंने आगे बताया कि आप (मीडिया) ही प्रहरी है, पक्ष और विपक्ष तो अपने हित के लिये कुछ भी कह सकता है लेकिन खबरों को सही रूप से प्रकाशित करना आपका दायित्व है. जो अच्छे कार्य करे उसे भी दिखाना है और जो बुरा करे, उसे भी दिखना आपका दायित्व है.


एसोसिएशन के विस्तार के लिये 20 लाख रुपये देने की घोषणा


गृहमंत्री ने एसोसिएशन के विस्तार के लिये 20 लाख रुपये देने की घोषणा भी की. उन्होंने इस मौके पर पत्रकारिता जगत से जुड़े पत्रकारों से साथ-साथ समाज सेवी व अन्य को स्मृति चिन्ह देकर उनका स्वागत भी किया.


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पहली सूची के तहत 46 पत्रकारों की पॉलिसी की गई


इस मौके पर मीडिया वेलबिंग एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष चन्द्रशेखर धरणी ने मुख्य अतिथि के साथ-साथ अन्य विशिष्ठ अतिथियों व वरिष्ठ पत्रकारों का स्वागत करते हुए एसोसिएशन द्वारा किये जाने वाले कार्यों बारे विस्तार से जानकारी दी. उन्होंने बताया कि पहली सूची के तहत 46 पत्रकारों की पॉलिसी की गई है और इस कार्य के लिये एक भी रुपया पत्रकारों से नही लिया जाएगा. एसोसिएशन द्वारा पत्रकारों सहित उनके परिवार का भी हैल्थ इंश्यारेंस हो, इसके लिये प्रयासरत रहेंगे. उन्होंने पत्रकारों के हितों से संबंधित मांगपत्र भी गृहमंत्री को सौंपा.