नोएडाः जेवर एयरपोर्ट से प्रभावित किसानों के विस्थापन को लेकर जेवर विधायक धीरेंद्र सिंह ने बुधवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस दौरान उन्होंने बताया कि हमारी सरकार किसान हितेषी है और किसानों का जो भी निर्णय होगा वह सर्वमान्य होगा. जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट के लिए जिन ग्रामों का विस्थापन होना है वह किसानों की मर्जी से होगा. इसके लिए दो जगह निर्धारित की गई है, जिसमें एक फिल्म सिटी के सामने फलैंदा कट है और दूसरा मॉडलपुर है.


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वहीं, जिला कलेक्ट्रेट ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान धीरेंद्र सिंह ने कहा कि 12 अक्टूबर, 2022 को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ जेवर एयरपोर्ट से प्रभावित किसानों की बैठक हुई. इस दौरान किसानों की कई समस्या के समाधान निकाले गए. इस दौरान मुख्यमंत्री ने साफ तौर पर कहा कि किसानों की भावनाओं के अनुरूप उनकी सभी मांगों पर विचार करते हुए पूरा किया जाना चाहिए. उसी को देखते हुए नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के द्वितीय चरण के किसानों के लिए एक विश्व स्तरीय विस्थापन स्थल की व्यवस्था की जा रही है.


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गौरतलब है कि दूसरे चरण में लगभग 18500 परिवार प्रभावित है, जिसमें से ग्राम रनहेरा, कुरेब और नगला हुकम सिंह के करीब 13320 परिवारों को इन दोनों जगह पर विस्थापित किया जाएग. इस दौरान नगला हुकम सिंह के 1600, रनहेरा के 6120 तथा कुरेब के 5600 परिवार विस्थापित होंगे. किसानों से विभिन्न स्तर की हुई वार्ता और उनके भविष्य की आवश्यकताओं और जीवनयापन के साधनों को देखते हुए द्वितीय चरण के किसानों की दो जगह विस्थापित किया जाएगा.


उन्होंने आगे कहा कि एक स्थान प्रस्तावित फिल्म सिटी और मेडिकल डिवाइस पार्क के सामने होगा. यह यमुना एक्सप्रेस वे से सटा होगा तथा मल्टीमॉडल कनेक्टिविटी से जुड़ा हुआ होगा. इस विस्थापन स्थल के समीप हरियाणा से जेवर एयरपोर्ट को जोड़ने वाला मार्ग तथा एक तरफ यमुना एक्सप्रेसवे निकट ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस-वे पर चढ़ने का स्थान,  भविष्य में हाई स्पीड ट्रेन एवं प्रस्तावित पोड टैक्सी भी समीप से गुजरेगी.


उन्होंने बताया कि अप्रैल पार्क जैसी वस्त्र उद्योग से संबंधित इकाइयों यहां की स्थानीय महिलाओं के 70% रोजगार का माध्यम बनेगी. फिल्म सिटी के सामने स्थित फलैंदा कट के पास इस विस्थापन स्थल को विकसित किया जाएगा, जो करीब 120 हेक्टेयर में विकसित होगा.