Karnataka News: जेडीएस नेता और केंद्रीय मंत्री एचडी कुमारस्‍वामी ने बीजेपी को चौंकाते हुए कहा है कि वो कर्नाटक में उनकी पदयात्रा का समर्थन नहीं करेंगे. कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया की पत्नी समेत विभिन्न लोगों को मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण (MUDA) की ओर से भूमि के आवंटन में हुईं कथित अनियमितताओं के खिलाफ मुख्‍य विपक्षी दल बीजेपी, मुख्‍यमंत्री सिद्दरमैया के नेतृत्‍व वाली कांग्रेस सरकार के खिलाफ 3-10 अगस्‍त के बीच पदयात्रा निकालने जा रही है. सिर्फ इतना ही नहीं कुमारस्‍वामी ने यहां तक कह दिया कि वो इस मामले में बीजेपी को नैतिक समर्थन तक नहीं देंगे. जेडीएस और बीजेपी का कर्नाटक में गठबंधन है और कुमारस्‍वामी केंद्र में भारी उद्योग और इस्‍पात मंत्री हैं. 


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जेडीएस के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी ने आरोप लगाया कि पैदल मार्च के बारे में उनकी पार्टी को भरोसे में नहीं लिया गया. उन्होंने इस मार्च का नेतृत्व करने वालों में हासन जिले के एक नेता को शामिल करने के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधा. 


'एक ऐसा व्‍यक्ति जिसने मेरे परिवार को जहर दिया...'
उन्होंने कहा कि विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व करने वालों में हासन के पूर्व भाजपा विधायक प्रीतम गौड़ा को चुनने के भाजपा के कदम से वह आहत हुए हैं. उन्होंने कहा, "वह प्रीतम गौड़ा कौन हैं? प्रीतम गौड़ा ने देवेगौड़ा के परिवार को खत्म करने का साहस किया. वे (भाजपा नेता) मार्च की तैयारियों पर चर्चा करने के लिए उन्हें (प्रीतम गौड़ा को) बैठक में बुलाते हैं और मुझे उनके बगल में बैठने के लिए कहते हैं... एक ऐसा व्यक्ति जिसने मेरे परिवार को जहर दिया...पेन ड्राइव बांटने का जिम्मेदार कौन है. मेरी सहनशीलता की भी एक सीमा है.”


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कुमारस्वामी ने गुस्से में पूछा, “क्या वे उनका समर्थन कर रहे हैं. क्या वे नहीं जानते कि हासन में क्या हुआ था. कौन जिम्मेदार था." वह हालिया लोकसभा चुनावों से पहले हासन में बड़े पैमाने पर पेन-ड्राइव बांटे जाने का जिक्र कर रहे थे, जिसमें कथित तौर पर उनके भतीजे प्रज्वल रेवन्ना से जुड़े वीडियो थे.


कुमारस्वामी ने पैदल मार्च के संबंध में जद(एस) की ओर से भाजपा को "नैतिक समर्थन" देने से भी इनकार किया. उन्होंने दिल्ली में पत्रकारों से कहा, ''हम हरगिज (नैतिक समर्थन) नहीं देंगे.'' उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी को भाजपा ने इस तथ्य के बावजूद विश्वास में नहीं लिया कि जिन क्षेत्रों से पैदल मार्च गुजरना था, वे जद(एस) के गढ़ हैं.


पूर्व प्रधानमंत्री एच. डी. देवेगौड़ा की पार्टी जेडीएस पिछले साल भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) में शामिल हुई थी. दोनों पार्टियों ने राज्य में हालिया लोकसभा चुनाव साथ मिलकर लड़ा था. उन्होंने कहा, ऐसे समय में जब लोग भारी बारिश के बाद कई समस्याओं का सामना कर रहे हैं, कई लोग बेघर हो गए हैं और सैकड़ों गांव जलमग्न हो गए हैं, तब इस तरह का पैदल मार्च आयोजित करने का यह उचित समय नहीं है. इसलिए हम पीछे हट गए हैं."


उन्होंने कहा, "फिलहाल, हमें लोगों का दर्द साझा करना है. मुझे नहीं पता कि (इन परिस्थितियों में पैदल मार्च की) कौन सही ठहराएगा." कुमारस्‍वामी के इस स्‍टैंड से बीजेपी को तगड़ा झटका लगा है क्‍योंकि वो अपनी पदयात्रा में जेडीएस का भी समर्थन चाह रही थी.