नई दिल्ली: भारत और श्रीलंका के बीच वस्तुओं के लिए मौजूदा मुक्त व्यापार करार (एफटीए) का दायरा बढ़ाने पर दसवें दौर की वार्ता चल रही है. दोनों पक्षों को उम्मीद है कि यह वार्ता इस साल दिसंबर तक पूरी हो जाएगी. एक अधिकारी ने कहा, 'बातचीत स्वस्थवर्धक तरीके से आगे बढ़ रही है. दोनों देश आर्थिक और प्रौद्योगिकी सहयोग करार (ईटीसीए) पर वार्ताओं को दिसंबर तक पूरा करने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं'. 


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इस करार का मकसद व्यापार नियमों को उदार कर दोनों देशों के आर्थिक संबंधों को और मजबूत करना है. दोनों देशों के बीच वस्तुओं को लेकर एफटीए पहले से है. अब इस करार का दायरा बढ़ाने और इसमें सेवाओं तथा निवेश को भी शामिल करने के लिए वार्ता हो रही है. भारत और श्रीलंका के बीच वस्तुओं का मुक्त व्यापार करार मार्च, 2000 में लागू हुआ था. 


श्रीलंका के साथ भारत का वस्तुओं का ऊंचा व्यापार अधिशेष है. वित्त वर्ष 2017-18 में भारत ने श्रीलंका को 4.5 अरब डॉलर की वस्तुओं का निर्यात किया. श्रीलंका से भारत का आयात 77.3 करोड़ डॉलर रहा. श्रीलंका दक्षिण एशिया में भारत का प्रमुख व्यापार भागीदार है.


मुक्त व्यापार करार (एफटीए) क्या है
एफटीए दुनियों के किसी भी दो देशों के बीच व्यापार को और उदार बनाने की गई संधि है. इसके तहत दोनों देश में एक दूसरे के यहां से आयात-निर्यात होने वाली वस्तुओं पर सीमा शुल्क, सब्सिडी, नियामक कानून, ड्यूटी, कोटा और कर को सरल बनाया जाता है. वर्तमान समय में दुनिया भर के कई देश मुक्त व्यापार संधि कर रहे हैं.


(इनपुट-भाषा)