Protest against pothole: गड्ढों में तब्दील हो चुकी सड़कें जानलेवा साबित हो रही हैं. सड़क पर गड्ढों और खराबी की वजह से हर साल हजारों लोगों की जान चली जाती है. सरकारी आंकड़े इस बात की पुष्टि करते हैं. सड़क परिवहन मंत्रालय के मुताबिक, साल 2020 में सड़क पर गड्ढों से हो रहे हादसों की संख्या 3564 थी. 2021 में ये आंकड़ा और बढ़ गया. वहीं इस साल जनवरी से जुलाई तक गड्ढों की वजह से 559 दुर्घटनाएं हुई हैं. इन में 213 लोगों की मौत हो गई और 442 लोग घायल हुए हैं. ऐसे इस साल लोगों की जान बचाने के लिए कर्नाटक (Karnataka) के एक समाजसेवी ने जो तरीका अपनाया उसकी इंटरनेट की गलियों में जमकर तारीफ हो रही है.


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रोड पर लेटकर दंडवत परिक्रमा


उडुपी शहर की सड़कों पर मौजूद जानलेवा गढ्ढों (Udupi Pothole) से लोगों को बचाने के लिए इस शख्स ने पानी भरे गढ्ढों के ऊपर से लेटकर यानी दंडवत परिक्रमा की तो वहां आस-पास से गुजर रहे लोग अपनी गाड़ियां रोक रोक कर उसे देखने लगे. इस अनूठे विरोध प्रदर्शन की तस्वीरें और वीडियो वायरल हो रहा है, आइए देखते हैं.



देश में रोजाना 415 लोगों की मौत


सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के मुताबिक, सड़क गड्ढों के अलावा हादसे के अन्य कारण भी होते हैं. इनमें तेज रफ्तार का कहर, मोबाइल फोन का उपयोग करना, शराब के नशे में गाड़ी चलाना, नशीले पदार्थों का सेवन, अतिभार, वाहनों की स्थिति, खराब रोशनी की स्थिति, रेड लाइट नियम तोड़ना, ओवरटेक करना, नगर निकायों की उपेक्षा, मौसम की स्थिति, चालक की गलती, गलत साइड से गाड़ी चलाना, सड़क की स्थिति में खराबी, मोटर वाहन की स्थिति में खराबी आदि कारण होते हैं.


सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री ने हाल ही में एक कार्यक्रम में कहा था, 'भारत में सड़क दुर्घटना में 415 लोग रोज मारे जा रहे हैं. अगर 2030 तक हम राह देखते रहेंगे, तो 6 से 7 लाख लोग इसमें मर जाएंगे. इसलिए हमारा लक्ष्य 2025 तक सबके सहयोग से सड़क दुर्घटना से होने वाली मौतें और दुर्घटनाएं में 50 फीसदी की कमी लाना है. इसके लिए सड़क के जानलेवा गड्ढों को भरने के साथ एक्सीडेंट के ब्लैक स्पॉट्स को सुरक्षित बनाने के लिए मंत्रालय तेजी से काम कर रहा है.'



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