नई दिल्ली: कृषि कानूनों को लेकर बीते करीब 2 महीने से ​किसान दिल्ली की सीमाओं पर धरना दे रहे हैं. इन कानूनों का सर्वाधिक विरोध पंजाब में हो रहा है. इन तीनों कानूनों को रद्द करने की मांग को लेकर पंजाब के किसान सिंघु बॉर्डर पर धरना दे रहे हैं. इस बीच केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर की ट्रेन यात्रा का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें वह सिख समाज के लोगों के साथ भोजन करते हुए दिख रहे हैं. यह वीडियो सचखंड एक्सप्रेस की है, जिससे नरेंद्र सिंह तोमर रविवार को दिल्ली से मुरैना जा रहे थे. 


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कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने ट्रेन यात्रा के दौरान सिखों के साथ किया भोजन
इस वीडियो में दिखाई दे रहा है कि ट्रेन के अंदर खिड़की की तरफ केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर हाथों में प्लेट लेकर भोजन कर रहे हैं. उनके नजदीकी सिख समाज के लोग बैठकर भोजन कर रहे हैं. इस ट्रेन में ही मौजूद एक शख्स ने यह वीडियो लिया. वीडियो में सिख समाज के लोग केंद्रीय कृषि मंत्री से पूछते हुए दिखाई दे रहे हैं कि उन्हें और कुछ तो नहीं चाहिए. जवाब में कृषि मंत्री उन्हें धन्यवाद कहते सुने जा सकते हैं. ऐसे माहौल में जब किसान कृषि कानूनों के विरोध में दिल्ली में धरना प्रदर्शन कर रहे हैं, केंद्रीय कृषि मंत्री का सिख समाज के लोगों के साथ भोजन करने का वीडियो कई मायनों में खास माना जा रहा है.


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''चाहते हैं कि कृषि कानूनों के हर क्‍लॉज पर चर्चा हो, संशोधन के लिए तैयार''
मुरैना रवाना होने से पहले केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंंह तोमर ने न्यूज एजेंसी एएनआई से बातचीत में कहा कि जब सुप्रीम कोर्ट ने कृषि कानूनों के अमल पर रोक लगा दी है, तब किसान धरने पर क्यों हैं? भारत सरकार ने किसानों से 9 बार बात की है.  हम चाहते हैं कि कृषि कानूनों के हर क्‍लॉज पर चर्चा हो. अगर किसानों को किसी क्लॉज पर आपत्ति होगी तो हम संशोधन के लिए तैयार हैं. लेकिन ये कानून रद्द नहीं होंगे. इसके अलावा कोई दूसरी मांग है तो किसान बताएं, सरकार खुले मन से चर्चा करेगी. 


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''कानून पूरे देश के लिए बनता है, किसान कमेटी के सामने बात रख सकते हैं''
केंद्रीय कृषि मंत्री ने कहा कि कोई भी कानून पूरे देश के लिए बनता है. अदालत ने अभी कानून के अमल पर रोक लगा रखी है, कोई बात है तो कमेटी के सामने भी रख सकते हैं. हमने किसान यूनियनों को एक प्रस्ताव भेजा था, जिसमें हम मंडियों, व्यापारियों के पंजीकरण और अन्य चीजों के बारे में उनकी आशंकाओं को दूर करने पर सहमत हुए थे. सरकार पराली जलाने और बिजली से जुड़े अध्यादेशों पर चर्चा करने के लिए सहमत हुई थी. लेकिन ​किसान संगठन कृषि कानूनों को निरस्त करने की बात पर अड़े हैं.


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किसानों के साथ 19 जनवरी की बैठक में क्लॉज बाय क्लॉज चर्चा करेंगे: तोमर
नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि किसान, विद्वान, वैज्ञानिक, इन कानूनों से सहमत हैं, जिद का तो सवाल ही नहीं है. किसानों और सरकार के बीच दसवें राउंड की बातचीत अब 19 जनवरी को होगी, इस दिन बैठक में तीनों कानूनों पर क्लॉज बाय क्‍लॉज चर्चा करेंगे. हम बातचीत के लिए बिल्कुल तैयार हैं. इस बीच संयुक्त किसान मोर्चा की बैठक 18 जनवरी को होनी है, जिसमें आगे की रणनीति पर चर्चा होगी. किसान 26 जनवरी को ट्रैक्टर मार्च निकालने वाले हैं. पंजाब के गुरदासपुर और मोगा में ट्रैक्टर मार्च की तैयारी चल रही है.


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