MP-राजस्थान की सीमा पर है भोलेनाथ का यह प्रसिद्ध मंदिर, पहाड़ों से होकर गुजरता है रास्ता
Ratlam News: रतलाम जिले में मध्य प्रदेश और राजस्थान की सीमा पर भगवान शंकर का एक प्रसिद्ध मंदिर है. जो बारिश के सीजन में एक प्रसिद्ध पर्यटन स्थल भी होता है.
देवझर महादेव
रतलाम की पिपलोदा तहसील में शेरपुर गांव में देवझर की पहाड़ियों में प्रसिद्ध भगवान शंकर का मंदिर है, इस मंदिर को देवझर महादेव का मंदिर कहा जाता है.
दुर्गम रास्ता
यह पहाड़ियां दूर से ही नजर आने लगती है, लेकिन यहां कुछ दूर पहले ही बाइक से भी आगे जाने का रास्ता नहीं है. पहाड़ी से पेदल नीचे उतरते हुए घुमावदार दुर्गम रास्ते से नीचे उतरते हुए देवझर मंदिर तक पहुंचते हैं.
प्राचीन शिवलिंग
पहाड़ी से नीचे उतरने के बाद भगवान भोलेनाथ के प्रचीन शिवलिंग के दर्शन होते हैं, इन्हें भीमनाथ महादेव भी कहते हैं. झरने के पानी से यहां आने वाले ग्रामीण श्रद्धालु भगवान भोलेनाथ के प्राचीन शिवलिंग का जलाभिषेख भी करते हैं.
मनमोहक नजारा
यहां सावन माह में हरियाली और झरने से काफी मनमोहक नजारा दिखाई देता है, पहाड़ी से नीचे आते ही सावन माह में यहां झरना बहता दिखाई देता है तेज बारिश के बाद यहां 3 झरने तेज गति से बहते है.
गुफाएं
यहां पहाड़ी के नीचे भगवान भोलेनाथ के प्राचीन 2 शिवलिंग हैं वहीं से लगी पहाड़ी में 5 छोटी छोटी गुफाएं भी हैं जो पहाडी के अंदर काफी घने अंधेरे में हैं. बताया जाता है की यह काफी प्राचीन स्थान है और ये गुफाएं, राजस्थान के गुप्तेश्वर और उज्जैन तक जाती हैं.
पुरातात्विक
इस जगह के पुरतात्विक होने का भी प्रमाण यहां मौजूद है, देवझर झरने से पहाड़ी से और नीचे नदी के पास बड़े चट्टानो पर देवताओं कि अलग उकेरी गई प्राचीन कलाकृतियां हैं, जिन्हें आज भी स्पष्ट देखा जा सकता है. सावन के महीने में हर साल यहां भीड़ लगती है.