Milkipur Assembly Seat: लोकसभा चुनाव के नतीजे आए हुए 52 दिन बीत चुके हैं लेकिन अयोध्या के नतीजों की चर्चा अब तक गर्म है. इस हार का बदला लेने के लिए बेताब बीजेपी मिल्कीपुर में जीत के लिए बिसात बिछा रही है. लखनऊ से सीएम योगी के चार-चार कमांडर मिल्कीपुर में भ्रमण कर जीत की नीव तैयार कर रहे हैं. परंपरा, प्रतिष्ठा और अनुशासन. ये वो तीन मंत्र है जिन्हें साधकर बीजेपी लोकसभा चुनाव में अयोध्या में हुई हार का बदला लेने की तैयारी में है. बदले की ये आग कितनी तीव्र है. इस बात का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि मिल्कीपुर विधानसभा उपचुनाव की तारीखों का एलान नहीं हुआ है लेकिन तैयारियां कई दौर की हो चुकी हैं. 


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बीजेपी ने मिल्कीपुर में उतारे 4 मंत्री


मिशन मिल्कीपुर के लिए तैयारियों की सबसे ताजा तस्वीर कल आई, जब योगी कैबिनेट के चार-चार मंत्री मैदान में नजर आए. इनमें कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही, संसदीय कार्यमंत्री मयंकेश्वर सिंह, खाद्य एवं रसद मंत्री सतीश शर्मा औऱ खेल मंत्री गिरीश यादव शामिल थे. चारों मंत्रियों ने मिल्कीपुर विधानसभा क्षेत्र के चारों मंडल के अध्यक्षों और प्रभारियों के साथ सहादतगंज में पार्टी दफ्तर में बैठक की, जहां फैजाबाद से पूर्व सांसद लल्लू सिंह भी मौजूद रहे. इस दौरान  मिल्कीपुर में कार्यकर्ताओं को जीत के मंत्र दिए गए. 


कार्यकर्ताओं को दिए गए ये 4 मंत्र


सूर्य प्रताप शाही ने सम्मेलन में कहा, बूथ कार्यकर्ता अपने क्षेत्रों में लोगों से संपर्क और संवाद करें. मंडल के पदाधिकारी केंद्र व बूथ के कार्यकर्ताओं के साथ समीक्षा करते रहें. पिछले चुनाव में जो बूथ कमजोर थे, उन पर ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है. नाराज मतदाताओं से मंडल और जिले के पदाधिकारी संपर्क करेंगे. आरक्षण के बारे में विपक्ष के झूठ पर जनता से चर्चा जरूर करें  


बैठक में कार्यकर्ताओं से अपने गढ़ को मजबूत करने के लिए कहा गया तो कैमरे पर विपक्ष पर जुबानी तीर छोड़ गए, निशाने पर वही मुद्दा रहा जिसे बीजेपी की अयोध्या हार का आधार माना जा रहा है. 


'संविधान की बात करके समाज में गफलत'


मीडिया से बातचीत में कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा, 'नरेंद्र मोदी 2014 से पूर्ण बहुमत की सरकार चला रहे हैं, 2019 में इससे अधिक बहुमत था, अगर उनको संविधान बदलना होता तो उस समय भी बदल सकते थे लेकिन कभी संविधान बदलने का इरादा नहीं रहा, जब नए संसद के भीतर गए तो सिर पर संविधान की पुस्तक रख कर गए थे, जिसकी संविधान के प्रति इतनी निष्ठा हो इतनी आस्था हो उसके बारे में ऐसी बात करके केवल गफलत पैदा की जा रही है.'


मिल्कीपुर में बीजेपी आरक्षण पर इस भ्रम को तोड़ने में कामयाब हो जाती है तो जीत की इबारत लिख पाएगी और अयोध्या से हिंदुत्व की राजनीति भी नए सिरे से धार लेगी क्योंकि जिस राम जन्मभूमि से बीजेपी की सियासी यात्रा घर-घर पहुंची.. 24 के नतीजों बाद विपक्ष अयोध्या का राजा किसी और को घोषित कर चुका है.


सीएम योगी ने मिल्कीपुर में बिछा दी बिसात


अखिलेश ने अयोध्या का राजा अवधेश सिंह को घोषित किया तो उसके पीछे आधार बताया जा रहा है सीएम योगी के यूपी विधानसभा का वो बयान, जो उन्होंने तुलसीदास के संदर्ब में कहा था. अब अयोध्या में राजनीतिक प्रतिष्ठा बचाने के लिए अयोध्या की सियासी परंपरा बढाने के लिए सीएम योगी ने मिल्कीपुर में बिसात बिछा दी है और इसे अंजाम तक पहुंचाने के लिए कार्यकर्ताओं को भी विजय मंत्र मिल चुका है.