बिहार के मुजफ्फरपुर की एक मुस्लिम छात्रा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पत्र लिखकर सुरक्षा की गुहार लगाई है. छात्रा का आरोप है कि पिछले एक साल से एक युवक उसे परेशान कर रहा है. आलम यह है कि उसका घर से निकलना दुभर हो गया है. न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक छात्रा कॉलेज में पढ़ती है. वह छेड़खानी की शिकायत पुलिस से भी की लेकिन आरोपी युवक आदत से बाज नहीं आ रहा है. आखिरकार छात्रा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से सुरक्षा की गुहार लगाई है. पत्र में छात्रा ने लिखा है कि वह अपनी पढ़ाई के प्रति काफी सजग है, लेकिन पड़ोस में रहने वाले एक लड़के हरकतों से उसे काफी परेशानी हो रही है. आरोपी युवक रास्ते में उसके साथ छेड़खानी करता है, कई बार उसने उसका रास्ता तक रोकने की कोशिश की.


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पीएम नरेंद्र मोदी को मुस्लिम छात्रा ने लिखा पत्र
इसी साल मार्च में कर्नाटक के मांड्या की मुस्लिम छात्रा सारा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर एजुकेशन लोन के लिए मदद मांगी थी. पीएमओ के आदेश पर छात्रा को बैंक ने 1.5 लाख रुपए का लोन स्वीकृत कर दिया था. हालांकि सारा का एजुकेशन लोन दूसरे बैंक से मिला है. बताया जा रहा है कि सारा ने पहले का एजुकेशन लोन चुकता नहीं किया था, इसलिए बैंक ने उसे दोबारा लोन देने से मना कर दिया था. मांड्या में रहने वाले अब्दुल इलियास की बेटी सारा ऊंची शिक्षा हासिल करना चाहती थी. पिता के पास पर्याप्त पैसे नहीं थे तो सारा ने बैंक में एजुकेशन लोन के लिए आवेदन किया. बैंक ने लोन देने से मना कर दिया, शर्त रखी की पहले पुराना लोन चुकाओ फिर नया लोन मिलेगा. 


इसके बाद छात्रा सारा ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर लोन दिलाने में मदद करने की मांग की. सारा ने पीएम मोदी को लिखे पत्र में 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ' योजना का जिक्र किया. छात्रा के पत्र पर प्रधानमंत्री मोदी के कार्यालय ने तत्काल एक्शन लेते हुए कर्नाटक के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर सारा को लोन दिलाने में मदद करने का आदेश दिया. इसके बाद सारा को विजया बैंक से एजुकेशन लोन मिल गया. विजया बैंक के मैनेजर क्षेमा कुमार का कहना है कि सारा के पिता का बैकग्राउंड और देखकर लोन स्वीकृत किया गया है.