Farmers Protest: Zee News के खुलासे पर लगी मुहर, PJF के को-फाउंडर का सच आया सामने
पर्यावरण एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग (Greta Thunberg) की टूलकिट को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है. इस डॉक्यूमेंट को पोएटिक फ़ॉर जस्टिस (Poetic for Justice) ग्रुप ने तैयार किया था.
नई दिल्ली: कृषि कानूनों (Agriculture Laws) के खिलाफ चल रहे किसानों के आंदोलन (Farmers Protest) के नाम पर 'प्रोपेगेंडा' फैलाकर भारत को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बदनाम करने की साजिश चल रही है. पर्यावरण एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग (Greta Thunberg) की टूलकिट को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है.
पोएटिक फॉर जस्टिस ने तैयार किया था डॉक्यूमेंट
ग्रेटा थनबर्ग (Greta Thunberg) ने किसान आंदोलन (Farmers Protest) से जुड़ा जो डॉक्यूमेंट ट्वीट पर शेयर किया था, उसको पोएटिक फॉर जस्टिस (Poetic for Justice) ग्रुप ने तैयार किया था. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार पोएटिक फॉर जस्टिस के को-फाउंडर मो धालीवाल भारतीय सुरक्षा एजेंसियों की नजर में है. जानकारों के मुताबिक मो धालीवाल खालिस्तान समर्थक है और भारत के खिलाफ कई प्रदर्शन में शामिल हो चुका है.
Zee News के खुलासे पर लगी मुहर
पोएटिक फॉर जस्टिस फाउंडेशन (PJF) को लेकर Zee News के खुलासे पर एक बार फिर मुहर लगी है और PJF के को-फाउंडर मो धालीवाल (MO Dhaliwal) का सच सामने आया है. बता दें कि Zee News ने बताया था कि पीजेएफ किसानों को भड़का रहा है.
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कौन है मो धालीवाल?
मो धालीवाल (MO Dhaliwal) कनाडा के वैंकूवर में रहता है और उसका चाचा खालिस्तानी आतंकी रह चुका है, जिसे पंजाब पुलिस ने 1984 में एनकाउंटर में मार गिराया था. 26 जनवरी 2021 को भी धालीवाल ने कनाडा में स्थित भारतीय कॉन्सुलेट्स के सामने प्रदर्शन किया था और कहा था कि असली लड़ाई भारत के टुकड़े करना है.
दिल्ली पुलिस ने गूगल से मांगा जवाब
दिल्ली पुलिस की साइबर सेल ने गूगल (Google) से जवाब मांगा है. ईमेल के जरिए गूगल से पूछा गया है कि टूलकिट का IP एड्रेस क्या है? बता दें की ये टूलकिट गूगल ड्राइव के जरिए शेयर की गई थी, इसलिए गूगल से जवाब मांगा जा रहा है.
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