Lok Sabha Security Breach: बुधवार को संसद में कुछ ऐसा हो गया जो काफी दुर्भाग्यपूर्ण रहा. हुआ यह कि कार्यवाही के दौरान ही लोक सभा में दो शख्स दर्शक दीर्घा से सदन में कूद गए. दोनों एक बेंच से दूसरे बेंच पर भागने लगे, ठीक इसी दौरान एक शख्स ने जूते से निकालकर गैस स्प्रे कर दी. इसके बाद सियासी हलचल तेज हो गई और प्रतक्रियाओं का भी दौर शुरू हो गया. उधर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने घटना को लेकर उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए हैं. इसी बीच राज्यसभा सांसद प्रियंका चतुर्वेदी का मानना है कि उन्होंने इसे लेकर पहले ही चेतावनी दी थी. अगर उनकी चेतावनी पर लगभग 3 महीने पहले एक्शन होता तो क्या संसद पर स्मोक अटैक रुक जाता.


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'22 सितंबर को इस मुद्दे को उठाया था'
दरअसल, शिवसेना यूबीटी गुट से राज्यसभा सांसद प्रियंका चतुर्वेदी का कहना है कि एक चिंतित और मेहनती सांसद के रूप में, मैंने 22 सितंबर को इस मुद्दे को उठाया था. यह उस समय उठाया था जब राज्यसभा की आगंतुक गैलरी में भारी भीड़ उमड़ रही थी और वहां राजनीतिक नारेबाजी हो रही थी. कल शून्यकाल में भी मैंने खालिस्तानी आतंकवादी पन्नुन द्वारा अमेरिकी धरती से धमकी देने का मामला उठाया था. भले ही यह कोरी धमकी हो, लेकिन इसका संज्ञान लिया जाना चाहिए. उन्होंने यह भी कहा कि अगर कोई विपक्षी नेता चिंता के कारण आपको कुछ बता रहा है, तो यह गंभीरता से लिया जाना चाहिए.


संसद पर हमले की बरसी
प्रियंका चतुर्वेदी ने आगे यह भी कहा कि हालांकि मुझे कोई उत्तर नहीं मिला. प्रियंका चतुर्वेदी ने यह बात न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए संसद परिसर में उस समय कही जब वहां सुरक्षा को लेकर हलचल मची हुई थी और स्प्रे वाली घटना घट चुकी थी. हैरत की बात है कि यह सब ठीक उसी दिन हुआ जिस दिन संसद पर हमले की बरसी थी. करीब एक बजे दो शख्स लोकसभा में दर्शक दीर्घा से सदन के भीतर कूद पड़े और पीली गैस का स्प्रे करने लगे. इसके बाद इनमें से एक शख्स लोकसभा स्पीकर की कुर्सी की तरफ दौड़ने लगा. इन आरोपियों के सदन में कूदने के बाद वहां मौजूद सांसदों ने हिम्मत दिखाते हुए दोनों आरोपियों को सदन के अंदर ही पकड़ लिया. 



आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया
फिलहाल इनके पास से सभी तरह की सामग्री को जब्त कर लिया गया है. इतना ही नहीं यह भी सामने आया है कि संसद के बाहर नारेबाजी कर रही एक महिला और शख्स को भी पुलिस ने हिरासत में लिया फिर बाद में इन सभी चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया. घटना के जांच के आदेश दिए गए हैं. मालूम हो कि बुधवार को ही संसद भवन पर हमले की 22वीं बरसी है. 13 दिसंबर 2001 में आतंकियों ने संसद भवन पर हमला किया था. इस हमले में 9 जवान शहीद हुए थे. जबकि 5 आतंकी मारे गए थे.