Rahul Gandhi: `आप लोगों को बुलाऊंगा`, शादी को लेकर कश्मीरी छात्राओं ने पूछा सवाल तो क्या बोले राहुल?
Rahul Gandhi Wedding: राहुल ने कहा, प्रधानमंत्री के साथ मेरी समस्या यह है कि वह किसी की बात नहीं सुनते हैं. मुझे ऐसे किसी भी व्यक्ति से समस्या है जो शुरू से मान लेता है कि वह सही है, यहां तक कि अगर उसे कोई कुछ दिखा रहा है कि वह गलत है, तो वह इसे स्वीकार नहीं करेंगे.
Rahul Gandhi Marriage: अकसर लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी से उनकी शादी को लेकर पूछा जाता है. अब कांग्रेस नेता ने इस पर खुलकर जवाब दिया है. राहुल ने कहा है कि वह शादी करने की प्लानिंग नहीं कर रहे हैं, लेकिन अगर होती है तो ठीक है. हालांकि वह 20-30 वर्षों से शादी के दबाव से बाहर निकल चुके हैं. राहुल ने पिछले हफ्ते जम्मू-कश्मीर की यात्रा के दौरान कश्मीरी छात्राओं के साथ बातचीत के दौरान यह टिप्पणी की.
'शादी के सवाल पर क्या बोले राहुल'
उन्होंने कश्मीरी छात्राओं के एक ग्रुप के साथ इस बातचीत का वीडियो सोमवार को अपने यूट्यूब चैनल पर अपलोड किया. इसमें जब कश्मीर की छात्राओं ने उनसे शादी की योजना के बारे में सवाल किया तो कांग्रेस नेता ने कहा, 'मैं शादी की योजना नहीं बना रहा हूं, लेकिन अगर होती है तो ठीक है.' उनका यह भी कहना था कि वह 20-30 वर्षों से शादी के दबाव से बाहर निकल चुके हैं.
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'शादी हुई तो आपको जरूर बुलाऊंगा'
राहुल ने उन लड़कियों से यह भी कहा कि वह अपनी शादी में उन्हें बुलाएंगे. उन्होंने एक बार फिर जम्मू-कश्मीर का पूर्ण राज्य का दर्जा बहाल करने की मांग उठाई और कहा कि इस केंद्र शासित प्रदेश को दिल्ली से चलाने का कोई मतलब नहीं है. पीएम मोदी के बारे में पूछे जाने पर राहुल गांधी ने कहा, 'प्रधानमंत्री के साथ मेरी समस्या यह है कि वह किसी की बात नहीं सुनते हैं. मुझे ऐसे किसी भी व्यक्ति से समस्या है जो शुरू से मान लेता है कि वह सही है, यहां तक कि अगर उसे कोई कुछ दिखा रहा है कि वह गलत है, तो वह इसे स्वीकार नहीं करेंगे. ऐसे में इस तरह का शख्स हमेशा कोई न कोई समस्या पैदा करता है.'
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पीएम मोदी पर बरसे राहुल
राहुल ने कहा, 'यह असुरक्षा से आता है, यह ताकत से नहीं आता है. यह कमजोरी से आता है.' कांग्रेस नेता ने जम्मू-कश्मीर में आगामी विधानसभा चुनाव के बारे में भी बात की और छात्राओं से कहा कि यह भारतीय इतिहास में पहली बार है कि किसी प्रदेश से उसका पूर्ण राज्य का दर्जा छीन लिया गया है. उन्होंने कहा, 'जिस तरह से यह किया गया, वह हमें पसंद नहीं आया. लेकिन, अब हमारे लिए सिद्धांत राज्य का दर्जा वापस पाना है और इसमें जम्मू कश्मीर और लद्दाख के लोगों को प्रतिनिधित्व शामिल है.' राहुल ने कहा कि इस प्रदेश को दिल्ली से चलाने का कोई मतलब नहीं है.
(पीटीआई इनपुट के साथ)
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