अजमेर : नागौर जिले की पीलवा थाना क्षेत्र के स्कूल में कार्यरत बाबू की आत्मदाह के बाद जेएलएन अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई. इस घटना के बाद गुस्साए परिजनों और ग्रामीणों ने मोर्चरी पहुंचकर अपना विरोध जताते हुए शव लेने से इनकार कर दिया और इस मामले में लिप्त सभी आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग की गई है।


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मृतक बाबू रामसुख के बेटे निर्मल ने बताया कि उनके पिता स्कूल में बाबू के पद पर कार्यरत है और उनका ट्रांसफर पिलवा क्षेत्र की राजकीय स्कूल में हो गया था लेकिन इसके बावजूद भी स्कूल की प्राचार्य उन्हें रिलीव नहीं कर रही थी और स्थानीय स्टार्स भी उन्हें काफी परेशान कर रहा था.जिसके चलते वह तनाव में थे और इसी कारण से उन्होंने गुरुवार को पेट्रोल डालकर स्कूल में ही आत्मदाह कर लिया.


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इतने गंभीर अवस्था में जेएलएन अस्पताल में रेफर करवाया गया जहां 90% वह जल चुके थे इस दौरान उन्होंने पुलिस को नामजद रिपोर्ट भी दर्ज कराई थी और अपनी आपबीती सुनाते हुए इस मामले में कार्रवाई की मांग की गई थी. इसी बीच इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई पुलिस ने इस संबंध में अपनी जांच शुरू कर दी है लेकिन परिजनों ने अस्पताल की मोर्चरी में हंगामा करते हुए शव लेने से इनकार कर दिया है.


मृतक के परिजनों का आरोप है कि इस मामले में लिप्त स्कूल प्रधानाध्यापक के साथ ही अन्य स्टाफ पर जल्द कार्रवाई करते हुए उन्हें गिरफ्तार कर बर्खास्त किया जाए. ऐसा नहीं होने पर शव नहीं लिया जाएगा। फिलहाल इस संबंध में स्थानीय प्रशासन के साथ ही पीलवा थाना पुलिस परिजनों से समझाइश कर मामले की कार्रवाई में जुटी है.