Alwar News: अलवर ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र में इन दिनों लाल सोना कहे जाने वाली प्याज की खेती तैयार हो गई है. जिसमें अब किसान परिवार सहित खेतों में जुटे हुए हैं . किसान प्याज की खेती को तैयार कर उसे मंडी पहुंचाने में लगे हुए हैं. लेकिन अबकी बार बारिश से अधिकतर किसानों की प्याज की खेती नष्ट हो गई है जिससे किसानों को काफी मोटा नुकसान हुआ है.


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किसान मौसम दीन का कहना है कि लगातार हुई बरसात के बाद प्याज की फसल खराब हो गई थी. प्याज की खेती में मोटी लागत लगती है. एक बीघा प्याज लगाने में 40 से 50 हजार रुपए की लागत लग जाती है. जहां किसान हर बार अच्छे भाव की उम्मीदों के सहारे ही प्याज की खेती करते हैं . लेकिन मौसम की मार झेल रही प्याज की फसल में काफी नुकसान हुआ हैं.


पिछले साल  भी प्याज की फसल में जलेबी नामक रोग लग जाने की वजह से पूरी प्याज की खेती खराब हो गई थी. इस वर्ष दो बार लगातार हुई बरसात ने प्याज की फसल को खराब कर दिया जिसकी वजह से प्याज की खेती विकास भी नहीं कर पाई थी और गलन पकड़ने की वजह से खराब हो गई थी. 


वहीं, अब कुछ बची हुई प्याज की फसल को उखाड़ कर तैयार कर मंडी पहुंचाने के लिए हम खेतों में लगे हुए हैं. हमारा परिवार सिर्फ खेती पर ही निर्भर है. जिसमें अभी तक गत वर्ष की नुकसान की भरपाई भी नहीं हो पाई और अब भी प्याज की फसल काफी खराब हो गई है.


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