Ramgarh: रामगढ़ में जमीन विवाद का जिन्न डेढ़ साल बाद फिर निकला बाहर, धरने पर बैठे लोग
Ramgarh, Alwar News: अलवर के रामगढ़ में शीतला माता मंदिर व कब्रिस्तान की विवादित जमीन का मुद्दा डेढ़ साल बाद फिर उठा. विवादित कब्रिस्तान व शीतला माता मंदिर की जमीन पर कब्जा दिलाने के लिए गया था. जहां पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज की गई थी. इसी बात को लेकर आक्रोशित ग्रामीणों ने पुलिस पर पथराव भी किया था.
Ramgarh, Alwar News: अलवर के रामगढ़ में शीतला माता मंदिर व कब्रिस्तान की विवादित जमीन का मुद्दा एक बार फिर गरमा गया है. ऐसे में कब्रिस्तान की चारदीवारी करवाने को लेकर दर्जनों महिला व पुरुष अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे. मांगों को लेकर समुदाय विशेष के लोगों का अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन जारी है, समुदाय विशेष के लोगों का कहना है कि जब तक हमारी मांग पूरी नहीं होगी यह धरना इसी प्रकार चलता रहेगा. रामगढ़ नगर पालिका क्षेत्र के डोली बास के पास जय कॉलोनी में शीतला माता मंदिर व कब्रिस्तान का विवाद अभी खत्म नहीं हुआ है. रामगढ़ सिविल न्यायाधीश सरवन कुमार मीणा के द्वारा इस विवादित जमीन पर स्टे दे रखा है. उसके बावजूद नगर पालिका ने राजनीतिक दबाव के कारण इस विवादित जमीन पर ठेकेदार पूर्व सरपंच सुभाष वर्मा को 4 लाख 88 हजार रुपए का टेंडर छोड़ दिया गया.
ये है मामला
जिसके बाद ठेकेदार कब्रिस्तान की चारदीवारी करने के लिए पहुंचे तो ग्रामीणों ने इसका विरोध शुरू कर दिया. इसी कारण 6 महीने से टेंडर छूटने के बावजूद भी कब्रिस्तान की चारदीवारी नहीं हो पाई. इसी आक्रोश में समुदाय विशेष के दर्जनों महिला व पुरुष रामगढ़ कस्बे के तहसील रंगमंच पर अनिश्चितकालीन सामूहिक धरना प्रदर्शन पर बैठ गए. धरने पर बैठे सुबान खान का कहना है कि 1947 से ही खसरा नंबर 380 रकबा 4 बीघा यह जमीन कब्रिस्तान के नाम अलॉट की गई है, जमाबंदी में भी कब्रिस्तान के नाम रिकॉर्ड बोल रहा है, लेकिन गांव के लोगों ने इस कब्रिस्तान की जमीन पर ईंधन व उपले डालकर जबरन कबजा कर रखा है. इस कब्रिस्तान की जमीन पर हमारे परिवार में से ही कई कब्र दबी हुई है. कब्रिस्तान के बगल में आनन-फानन में शीतला माता का चबूतरा बना दिया, इसीलिए आज गांव के पूरे परिवार के साथ तहसील रंगमंच पर अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन पर बैठे हैं. यदि हमारी मांग पूरी नहीं की गई तो यह यह धरना ऐसे ही चलता रहेगा.
वहीं गांव के लोगों का कहना है कि गांव में मात्र 2 परिवार है समुदाय विशेष के लोगों के बाकी सब हिंदू है. दो परिवारों के लिए पहले से ही कब्रिस्तान की भूमि इनको दी हुई है. यह बंजर भूमि तो शीतला माता मंदिर के नाम थी, लेकिन समुदाय विशेष के लोगों ने विधायक पर दबाव डलवा कर यह जमीन जमाबंदी में कब्रिस्तान के नाम दर्ज करवा दी.
पहले भी हुआ था विवाद
गौरतलब है कि डेढ़ वर्ष पहले प्रशासन व रामगढ़ प्रशासन पूरे दलबल के साथ विवादित कब्रिस्तान व शीतला माता मंदिर की जमीन पर कब्जा दिलाने के लिए गया था. जहां पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज की गई थी. इसी बात को लेकर आक्रोशित ग्रामीणों ने पुलिस पर पथराव भी कर दिया था, रामगढ़ सिविल न्यायाधीश के द्वारा इस विवादित जमीन पर स्टे देने के बाद प्रशासन वापिस लौटा था.
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