अनाज मंडी में किसानों के नहीं आने से पसरा सन्नाटा, मजदूरों को रोजी-रोटी का संकट
पहले किसानों की फसल अनाज मंडी में लेकर आते थे तो शाम तक की मजदूरी बन जाती थी लेकिन अब मजदूरों के सामने मजदूरी नहीं आने के कारण मजदूरों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है.
Bansur: बानसूर के अनाज मंडी में इन दिनों किसानों तथा काश्तकारों के नहीं आने से अनाज मंडी में सन्नाटा पसरा हुआ है तथा अनाज मंडी के मजदूरों का कामकाज ठप्प हो गया है. जिससे मजदूरों तथा पलदारों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है. मजदूरों ने बताया कि क्षेत्र में इन दिनों किसान अपने बाजरे की खेती में लगा हुआ है जिस कारण ना तो कोई किसान और ना ही काश्तकार अनाज मंडी में अपनी फसलों को लेकर नहीं आ रहे हैं.
जिससे अनाज मंडी में सन्नाटा पसरा हुआ है तथा मजदूर पूरे दिन खाली बैठे हुए हैं. पहले किसानों की फसल अनाज मंडी में लेकर आते थे तो शाम तक की मजदूरी बन जाती थी लेकिन अब मजदूरों के सामने मजदूरी नहीं आने के कारण मजदूरों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है. देखा जाए तो कुछ किसान अपनी फसल को सीधे ही बाहर के व्यापारियों को दे रहे हैं. जिससे बाहर बैठे व्यापारी किसानों को लालच देकर फसल को सीधे मील में उतार देते हैं लेकिन अब किसान के अनाज मंडी में नहीं आने से व्यापारी भी खाली बैठे हुए हैं.
कोई खरीददार अब अनाज मंडी में नहीं आ रहे हैं जिससे मजदूर भी पूरे दिन खाली बैठे हुए हैं. मजदूरों ने बताया कि किसानों के द्वारा बाजरे की फसल में व्यस्त होने के कारण अब कामकाज भी प्रभावित हो रहा है तथा बारिश के समय किसान अपने खेतों में में यूरिया तथा डीएसपी खाद की खरीददारी में व्यस्त हो गए हैं जिससे पूरे दिन अनाज मंडी में सन्नाटा पसरा रहता है. मजदूर सुबह अनाज मंडी में यही आस करते हुए आते हैं कि उनकी मजदूरी बनेगी लेकिन कामकाज नहीं होने के चलते मजदूर परेशान हो रहे हैं. जिससे मजदूरों की धाड़ी भी नहीं बन पा रही है. मजदूरों को मुनाफा होना तो दूर उनकी मजदूरी भी नहीं बन पा रही है. जिससे मजदूरों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. वहीं बाजारों में सन्नाटा पसरा हुआ है. बाजारों में शादी समारोह के सीजन में काफी चहल पहल रहती थी लेकिन शादी समारोह का सीजन बंद होने के चलते बाजारों में सन्नाटा पसरा हुआ है.
मजदूर भागीरथ सैनी का कहना है कि अनाज मंडी में माल नहीं आ रहा है जिस कारण मजदूर खाली बैठे हुए हैं तथा मजदूरी भी नहीं बन पा रही है पिछले 2 महीने से माल नहीं आने के कारण कामकाज ठप हो रहा है. किसान अपना माल लेकर नहीं आ रहे हैं इसके चलते सुबह से शाम तक 100-200 रू ही बन पाते हैं लेकिन हमारा काम काज नहीं चल रहा है.
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