Bhilwara News: भीलवाड़ा जिले का सबसे बड़ा महात्मा गांधी चिकित्सालय एक बार फिर विवादों के घेरे में है. इस बार वजह है स्टाफ की बड़ी लापरवाही. चिकित्सालय स्टाफ पर परिजनों का आरोप है कि उनके घर में बेटा पैदा हुआ था, लेकिन स्टाफ ने लापरवाही करते हुए उन्हें बेटी थमा दी. इस घटना के बाद हॉस्पीटल में हंगामा खड़ा हो गया और मौके पर पुलिस को पहुंचकर समझाइश करनी पड़ी. जानकारी के अनुसार भीलवाड़ा के उपनगर पुर में रहने वाले गणेश विश्नोई की पत्नी टीना विश्नोई ने महात्मा गांधी चिकित्सालय के शिशु इकाई में बेटे को जन्म दिया था. इस दौरान स्टाफ में चार बार टीना का नाम पुकारा गया और कहा कि वह अपने बेटे को आकर ले जाए. 


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जिसके 2 घंटे बाद स्टाफ ने कहा कि टीना को बेटा नहीं बेटी हुई है. यह कहते हुए उसे बेटी थमा गए इस बात से नाराज परिजनों ने हॉस्पिटल में हंगामा खड़ा कर दिया. आक्रोशित परिजनों का कहना था कि हॉस्पिटल स्टाफ ने पहले 4 बार बेटा होने की आवाज लगाई और बेटा ले जाने की बात कही, लेकिन 2 घंटे बाद वह लोग खुद की गलती को छुपाते हुए, परिजनों की गलती बता कर पल्ला झाड़ने लगे. फिलहाल इस मामले को लेकर हॉस्पिटल में गहमा गहमी का माहौल बना हुआ है तो, मामले की जानकारी पर एमसीएचसी सेंटर की प्रभारी इंद्रा सिंह, भीमगंज थाना पुलिस व हॉस्पिटल के अन्य अधिकारी भी मौके पर पहुंच गए है. फिलहाल अधिकारियों की ओर से इस मामले की जांच की जा रही है.


गौरतलब है कि भीलवाड़ा के महात्मा गांधी चिकित्सालय की इसी शिशु इकाई के एनआईसीयू वार्ड में वार्मिंग मशीन में ओवर हिटिंग से दो बच्चों की मौत हो गई थी. स्टाफ की लापरवाही के कारण चिकित्सा प्रबंधन को खासी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. अब एक बार फिर बेटे और बेटी के फेर में फंसे नर्सिंग स्टाफ के कारण महात्मा गांधी चिकित्सालय के प्रबंधन की किरकिरी हो रही है, लेकिन ऐसे लापरवाह स्टाफ के खिलाफ कोई सख्त कार्रवाई अमल में नहीं लाई जा रही है, जिसके कारण इनके हौसले बुलंद होते जा रहें हैं. इस मामले में भी फिलहाल दस्तावेजों की जांच कर मामले को निपटाने का प्रयास किया जा रहा है.


Reporter - Mohammad Khan


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