Janmashtami 2023: भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव के अवसर पर विश्व प्रसिद्ध धार्मिक नगरी मेहंदीपुर बालाजी में अतिभव्य आयोजन किया गया. बालाजी मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत डॉ. नरेशपुरी महाराज के सानिध्य सीताराम मंदिर परिसर में कृष्ण जन्माष्टमी धूमधाम से मनाया गया. यहां रात 12 बजे ठाकुरजी का पंचामृत अभिषेक करवाकर भगवान को रत्न जड़ित पोशाक धारण करवाई गई. कृष्ण जन्मोत्सव के साथ ही रात 12 बजे मंदिर के घंटे घड़ियाल बजे उठे तो वहीं श्रद्धालुओं में हाथी घोड़ा पालकी-जय कन्हैया लाल की जयकारे लगाएं. इसके बाद महंत नरेशपुरी महाराज ने महाआरती कर ठाकुर जी को मेवा मिष्ठान का भोग लगाया.


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धार्मिक नगरी मेहंदीपुर बालाजी में कृष्ण जन्मोत्सव के अवसर पर इस तरह का भव्य आयोजन पहली बार किया गया. इस दौरान सबसे पहले सिद्धपीठ के पीठाधीश्वर महंत डॉक्टर नरेशपुरी महाराज द्वारा ठाकुरजी का 101 किलो पंचामृत से महाभिषेक कराया गया. महाभिषेक के बाद रेशमी कपड़े की रत्न और कुंदन से जड़ित सुसज्जित पोशाक कृष्ण भगवान को धारण करवाकर मनमोहक श्रंगार किया.


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इसके बाद रात सवा 12 बजे महाआरती का आयोजन किया गया. जिसमें हजारों की संख्या में श्रद्धालुओं ने भाग लिया. महाआरती के बाद महंत महाराज द्वारा सभी श्रद्धालुओं को गंगाजल के छींटे दिए गए. महाआरती के बाद महंत महाराज ने ठाकुरजी को 551 किलो हलवा, 51 किलो कलाकंद और 51 किलो पंजीरी का भोग लगाया. जिसे बाद में महाप्रसादी के रूप मे श्रद्धालुओं में वितरित किया गया.


राधाकृष्ण के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा के बाद पहली बार मनाए गए कृष्ण जन्मोत्सव में हजारों की संख्या में श्रद्धालु और स्थानीय लोग गवाह बने. कृष्ण जन्मोत्सव को भव्य रूप देने के लिए सीताराम मंदिर में देवताओं की झांकियों ने मन मोह लिया. जन्मोत्सव से पूर्व भजन संध्या का आयोजन किया गया. जिसमें इस्कॉन मंदिर के प्रसिद्ध कलाकारों ने अपनी प्रस्तुतियों से मंदिर परिसर में मौजूद सभी श्रद्धालुओं को भाव विभोर कर दिया. जिससे पूरी धार्मिक नगरी भगवान कृष्ण के रंग में रंगी हुई नजर आई.


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कृष्ण जन्मोत्सव के अवसर पर बालाजी मंदिर परिसर का करीब तीन सौ मीटर का क्षेत्र रंग-बिरंगी लाइटों की सजावट से जगमग नजर आया. वहीं आसपास ग्रामीण क्षेत्र के महिला पुरुष मंदिर परिसर की साज-सजावट देखने के लिए धार्मिक नगरी में पहुंचे. यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं की आवक के चलते मंदिर ट्रस्ट द्वारा व्यवस्थाओं के मंकुल बंदोबस्त किए गए थे. ट्रस्ट द्वारा की गई बेहतरीन व्यवस्थाओं से श्रद्धालु गदगद नजर आए और मंदिर ट्रस्ट की व्यवस्थाओं की सराहना करते देखे गए.