Jaipur: राजस्थान में पीएम केयर्स फंड से आए वेंटिलेटर्स को लेकर चल रही बयानबाजी में रोजाना नए नाम जुड़ते जा रहे हैं. अब बीजेपी के प्रदेश प्रभारी और राष्ट्रीय महामंत्री अरुण सिंह ने वेंटिलेटर्स को लेकर बड़ा बयान दिया है. अरुण सिंह ने कहा कि खुद गहलोत सरकार ने सर्टिफिकेट दिया था कि सभी वेंटिलेटर्स सही हैं तो फिर वो अचानक खराब कैसे हो गए? 


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अरुण सिंह ने कहा कि दूसरे राज्यों में भी ये वेंटिलेटर्स काम कर रहे हैं. उन्होंने आरोप लगाते गए कहा कि इन वेंटिलेटर्स पर 'पीएम केयर्स फंड' (PM Care Fund) लिखा था इस वजह से गहलोत सरकार ने इन्हें काम में नहीं लिया.


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राजस्थान बीजेपी के प्रभारी अरुण सिंह ने सरकार के मुखिया पर निशाना साधते हुए कहा, 'गहलोत के मन में पाप था, जिसके चलते वेंटीलेटर्स को काम में नहीं लिया गया और बाद में इस लापरवाही से कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी.'


सिंह ने कहा कि राज्य सरकार कह रही है कि फ्लो सेंसर खराब है. उन्होंने सवाल किया कि जब देश का पीएम वेंटिलेटर्स पर 60 करोड़ रुपए खर्च कर सकता है तो क्या राज्य सरकार 300 रुपए का फ्लो सेंसर लगाकर इन्हें काम में नहीं ले सकती थी. 


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अरुण सिंह ने पूछा कि अगर ये खराब थे तो भरतपुर के निजी अस्पताल को किराए पर क्यों दिए गए? उन्होंने कहा कि बीकानेर में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने कैसे इन्हें काम में लिया? बीजेपी नेता ने कहा कि असल बात तो यह है कि इनके मन में चोर है. अगर एक साल पहले ही इन्हें फंक्शनल कर दिया जाता तो आज शायद ये हालात नहीं होते. अरुण सिंह ने कहा कि इससे पहले तो कभी भी सीएम ने पत्र नहीं लिखा कि वेंटिलेटर्स खराब हैं.