General Knowledge Trending Quiz : प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे प्रतिभागियों के लिए क्विज किसी वरदान से कम नहीं है. इन दिनों प्रतिभागी अपना जीके मजबूत करने के के लिए इंटरनेट पर ट्रेंडिंग क्विज के सवालों को खूब सर्च कर रहे हैं.


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सवाल 1 - वो कौन सा फूल है, जो 36 साल में एक बार खिलता है?
जवाब 1 - उस फूल का नाम है "नागपुष्प", जो 36 साल में केवल एक बार ही खिलता है.


सवाल 2 - ऐसा कौन सा फूल है जिसका वजन 10 किलो तक होता है?
जवाब 2 - रेफ्लीसिया मुख्यतः मलेशिया एंव इंडोनेशिया में पाया जाने वाला, एक आश्चर्यजनक परजीवी पौधा है, जिसका फूल लगभग 1 मीटर व्यास का होता और इसका वजन 10 किलोग्राम तक हो सकता है.



सवाल 3 - भारत में कौन सा फूल साल भर खिलता है?
जवाब 3 - गुड़हल पूरे साल खिलने वाला बारहमासी फूल वाला पौधा है.


सवाल 4 - ऐसा कौन सा पेड़ है जिस पर फूल नहीं आता?
जवाब 4 - फर्न एक ऐसा पौधा है जिसमें फूल नहीं होता है.



सवाल 5 - ऐसा कौन सा फूल है जिसे हम खा सकते हैं?
जवाब 5 - फूलगोभी, ब्रोकली, सूरजमुखी आदि फूलों के ऐसे भाग हैं जिन्हें हम खा सकते हैं.


सवाल 6 - संसार का सबसे छोटा फूल कौन सा है?
जवाब 6 - दुनिया का सबसे छोटा फूलों वाला पौधा वोल्फिया ग्लोबोसा है.



सवाल 7 -  भगवान श्रीकृष्ण के साथ साए की तरह रहने वाले 'सात्यकि' कौन थे?
जवाब 7 -  दरअसल, महाभारत में कई पात्र ऐसे रहे हैं जिनकी भूमिका काफी महत्वपूर्ण रही थी, लेकिन उनकी चर्चा कम होती है. ऐसा ही एक किरदार सात्यकि का है जिसके बारे में बहुत कम चर्चा होती है, लेकिन वह एक महत्वपूर्ण किरदार है. सात्यकि द्वारिका में श्रीकृष्ण की सेना के एक अधिकारी सत्यक के पुत्र थे और इसी आधार पर उन्हें यह नाम दिया गया था. सात्यकि के गुरु अर्जुन थे, क्योंकि उन्होंने उनसे ही धनुर्विद्या सीखी थी और इसी रिश्ते को निभाने के लिए महाभारत में वह कौरवों की ओर से नहीं लड़े थे. श्रीकृष्ण की पूरी सेना ने कौरवों की तरफ से युद्ध किया था, लेकिन गुरु अर्जुन के खिलाफ युद्ध नहीं करने की प्रार्थना को श्रीकृष्ण ने स्वीकार किया था.
श्रीकृष्ण ने इस रिश्ते को समझते हुए सात्यकि को पांडवों की ओर से युद्ध की अनुमति दी थी. सात्यकि युद्ध कला में पारंगत थे और अच्छे धनुर्धर भी थे. महाभारत के युद्ध में उन्होंने  कृतवर्मा का वध किया था. युद्ध कौशल का अंदाजा इससे लगा सकते हैं कि सात्यकि ने कर्ण को भी हराया था. महाभारत युद्ध से पूर्व जब कृष्ण हस्तिनापुर शांति संदेश लेकर आए थे, तो उस वक्त उनके साथ केवल सात्यकि ही आये थे.



Disclaimer-


'ज़ी राजस्थान' इस खबर से संबंधित किसी तथ्य की पुष्टि नहीं करता. हमारा मकसद, आपके सामान्य ज्ञान को बढ़ाना है. हम आपके लिए इस तरह की जानकारियां विभिन्न विश्वसनीय वेबसाइट्स से जुटाने का प्रयास करते हैं.