Jhalawar news: राजस्थान के झालावाड़ जिले में भी पांच दिवसीय दीपोत्सव पर्व की धूम नजर आ रही है. दीपावली के दिन झालावाड़ जिला मुख्यालय व व्यापारिक नगरी झालरापाटन के बाजार रोशनी से सरोबार दिखाई दिए और दुकानों पर खरीदारों की जमकर भीड़ लगी रही. देर शाम छोटे बच्चों और महिलाओं ने भी जमकर उत्साह दिखाया और आकर्षक रंगोलिया बनाई.


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उधर दीपावली के अवसर पर व्यापारियों द्वारा भी नए बहीखाते का मुहूर्त के आधार पर पूजन कर शुभारंभ किया जाता है. ऐसे में बहीखाता खरीदने के लिए भी दुकानों पर खासी भीड़ दिखाई दी. चाहे युग कंप्यूटर का आ गया हो, लेकिन झालावाड़ जिले के व्यापारी अभी भी लेनदेन का हिसाब किताब बहीखातों में ही रखते हैं इसके लिए दीपावली के अवसर पर शुभ मुहूर्त में बहीखाता खरीदने की परंपरा आज भी है. लक्ष्मी पूजन के साथ ही बहीखातों में भी श्री गणेश व लक्ष्मी का उल्लेख कर इनकी शुरुआत की जाती है.


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नए सत्र 1 अप्रैल से ना शुरू कर दीपावली से शुरू 
व्यापारी विचित्र मंत्री ने बताया कि बहीखातों में लिखी गई लिखावट व्यापारिक लेनदेन के लिए पत्थर की लकीर की तरह सर्वमान्य होती है. बहीखाता विक्रेता अनिल नोपड़ा ने भी बताया कि झालावाड़ जिले में व्यापारियों के लिए बहीखाता ही सर्वमान्य है. चाहे हिसाब किताब कंप्यूटर में भी किया जाता हो, लेकिन बहीखाते में लिखने का चलन आज भी बरकरार है. हम तो चाहते हैं कि नए सत्र 1 अप्रैल से ना शुरू कर दीपावली से शुरू किया जाए, जिससे व्यापारियों की इन परंपराओं को भी संरक्षण मिल सके.


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