Karauli news: विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस के मौके पर जागरूकता संगोष्ठी और जागरूकता शपथ कार्यक्रम का भी आयोजन किया गया. हॉस्पिटल में एएनएम ट्रेंनिंग सेंटर में आयोजित कार्यक्रम में मानसिक अवसाद से बचने के उपाय, अवसाद ग्रस्त लोगों की पहचान और उन्हें अवसाद से उबरने के लिए सहयोग के तरीकों पर चर्चा की गई. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

इस दौरान एएनएम ट्रेनिंग सेंटर में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीएमएचओ डॉक्टर दिनेश मीणा ने कहा कि पूरे भारत में प्रति 3 मिनट में एक व्यक्ति आत्महत्या करता है. जबकि प्रतिदिन करीब 26 छात्र आत्महत्या करते हैं. आत्महत्या की बढ़ती प्रवृत्ति को रोकने के लिए समाज में जन जागरूकता लाने की आवश्यकता है. 


मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम प्रभारी डॉक्टर प्रेमराज मीना ने कहा कि बढ़ती आत्म हत्या की प्रवृत्ति को रोकने के लिए युवाओं को अकेला नहीं छोड़ने, मोबाइल की बढ़ती लत को कम करने, शिक्षा सहित अन्य क्षेत्र में पड़ते अनावश्यक दबाव को कम करने की आवश्यकता है. जिससे मानसिक अवसाद ग्रस्त लोगों को आत्महत्या से बचाया जा सके. इस दौरान उन्होंने आत्महत्या के मामलों में मीडिया रिपोर्टिंग को लेकर भी सावधानी बरतने की अपील की.


यह भी पढ़े- राजस्थान: भाजपा की परिवर्तन यात्रा में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने ही किया हंगामा, जानिए क्या रही वजह