Nagaur News: राजस्थान के नागौर जिले में रियांबड़ी उपखण्ड के ग्राम भंवाल में भंवाल माताजी का मंदिर स्थित है. जहां राजस्थान नहीं दूसरे राज्यों व प्रदेश से भी मन्नत मांगने हजारों श्रद्धालु आते हैं. मन्नत पूरी होने पर श्रद्धालु माताजी को ढाई प्याला शराब (सूरा )का भोग श्रद्धालु लगाते हैं. 


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भंवाल माताजी मंदिर के पुजारी अंबापुरी गोस्वामी ने जानकारी देते हुए बताया कि भंवाल माताजी के मंदिर का संवत 1119 में धड़ायतो (डाकुओ ) ने इस मंदिर का जीर्णोद्धार करवाया था. इस मंदिर में जो भी भक्त अपने सच्चे मन से कोई मुराद लेकर आता है. वो अवश्य ही पूरी होती है. सच्चे मन से आए हुए श्रद्धालुओं के असंभव काम भी भंवाल माताजी पूरी करती हैं. 


 



एक साल में दोनों नवरात्र पर 9 दिवसीय मेला भरा जाता है. हजारों की संख्या में दूरदराज से श्रद्धांलु माताजी के दर्शन को आते हैं और भक्तों की मनोकामना पूर्ण होती है. जो भक्त सच्चे मन से कोई मनोकामना माताजी से करता है, तो माताजी उसकी मन की मुराद पूरी करती है. भंवाल माताजी प्रसाद के रूप में ढाई प्याला शराब का भोग लगता है.



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नागौर शहर के करणी कॉलोनी में बुजुर्ग दंपति ने घर में बने टांके में कूदकर आत्महत्या कर ली. सूचना मिलते ही नागौर एसपी नारायण टोगस व कोतवाली थाना पुलिस मौके पर पहुंची. नयागांव निवासी हजारी राम व पत्नी चावली देवी के रूप में दंपति की पहचान हुई.



पुलिस को दीवार पर सुसाइड नोट मिला. जिसमें लिखा था कि मेरे बेटे के साथ बनती नहीं है. प्रथम दृष्टया आपसी गृहक्लेश के चलते आत्महत्या करने का मामला सामने आ रहा है. परिजनों के आने के बाद पुलिस दोनों शवों को टांके से बाहर निकालेगी.