Sambhal: संभल के सांसद बर्क तो बिजली चोर निकले! पुराने मीटरों में छेड़छाड़ का खुलासा
Sambhal News: उत्तर प्रदेश का संभल जिला देश में बिजली चोरी के मामलों में नंबर वन है. और अब यहां के सांसद जिया उर रहमान बर्क पर भी बिजली चोरी का गंभीर आरोप लगा है.
Sambhal News: उत्तर प्रदेश का संभल जिला देश में बिजली चोरी के मामलों में नंबर वन है. और अब यहां के सांसद जिया उर रहमान बर्क पर भी बिजली चोरी का गंभीर आरोप लगा है. बिजली विभाग की जांच में उनके घर में बड़े पैमाने पर बिजली चोरी का मामला सामने आया है.
पुराने मीटरों में छेड़छाड़ का खुलासा
बिजली विभाग ने हाल ही में सांसद बर्क के घर पर पुराने बिजली मीटर हटाकर नए स्मार्ट मीटर लगाए थे. जांच में पता चला कि पुराने मीटरों में छेड़छाड़ की गई थी, जिससे बिजली की खपत के बावजूद रीडिंग शून्य आ रही थी. यह देखकर बिजली विभाग की टीम ने तुरंत कार्रवाई करते हुए सांसद के घर की बिजली काट दी और उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई.
जरूरत से कम क्षमता वाले मीटर लगे थे
बिजली विभाग की जांच में यह भी सामने आया कि सांसद बर्क के घर पर 2-2 किलोवॉट के दो मीटर लगे थे, जबकि उनकी बिजली खपत के अनुसार 16 किलोवॉट के मीटर की जरूरत थी. इतने बड़े घर में एयर कंडीशनर, कूलर, गीजर, फ्रिज और अन्य बिजली उपकरण इस्तेमाल हो रहे थे, लेकिन बिजली बिल जीरो आ रहा था.
धमकियों के साए में काम कर रहा था बिजली विभाग
बिजली विभाग की टीम जब सांसद के घर पुराने मीटर बदलने गई, तो सांसद के पिता ममलुर्रहमान बर्क ने कर्मचारियों को धमकाया. उन्होंने कहा, "सरकार बदलेगी तो तुम्हारा कबाड़ा कर देंगे." ऐसी धमकियों के कारण समाजवादी पार्टी की सरकार के दौरान बिजली विभाग की कभी हिम्मत नहीं हुई कि वह सांसद बर्क के घर जांच कर सके.
योगी सरकार में हुई कार्रवाई
योगी सरकार में बिजली विभाग ने साहस दिखाते हुए सांसद बर्क के घर पर छापा मारा और बिजली चोरी का पर्दाफाश किया. यह कार्रवाई पुलिस बल की मौजूदगी में की गई, क्योंकि बिजली विभाग को पहले से अंदेशा था कि उन्हें धमकियां मिल सकती हैं.
सांसद के खिलाफ एफआईआर दर्ज
बिजली चोरी के मामले में सांसद जिया उर रहमान बर्क और उनके पिता के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है. यह एफआईआर पॉवर चोरी और सरकारी कर्मचारियों को धमकाने के आरोपों के तहत दर्ज हुई है.
समाजवादी पार्टी का बचाव
समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने सांसद बर्क का बचाव किया है. उन्होंने कहा कि यह कार्रवाई राजनीतिक बदले की भावना से की गई है. हालांकि, सवाल उठता है कि सांसद बर्क इतने बड़े घर में रहते हुए बिजली का बिल जीरो कैसे दिखा रहे थे.
सांसद बर्क की चुप्पी
सांसद जिया उर रहमान बर्क की ओर से अभी तक इस मामले पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है. लेकिन यह सवाल जरूर खड़ा हो गया है कि जिला विद्युत समिति के अध्यक्ष रहते हुए, जिनका काम बिजली चोरी रोकना है, वही सांसद खुद इस अपराध में लिप्त पाए गए.
संभल में बिजली चोरी का बड़ा खेल
संभल जिला पहले से ही बिजली चोरी के मामलों में बदनाम है. सांसद बर्क का नाम इस मामले में सामने आने से यह साफ हो गया है कि यहां बिजली चोरी रोकने के लिए जिम्मेदार लोग ही इसमें शामिल हैं.