मुंबई: अयोध्या में भूमि सौदा विवाद के बारे में शिवसेना (Shiv Sena) के मुखपत्र 'सामना' में कथित 'अपमानजनक' टिप्पणियों के खिलाफ भाजपा (BJP) की युवा इकाई ने विरोध मार्च निकाला, जिसके बाद मध्य मुंबई के दादर इलाके में स्थित शिवसेना भवन के बाहर भाजपा और शिवसेना के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प हो गई. इस झड़प पर शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत (Sanjay Raut) ने पलटवार किया है और कहा कि हिंदुत्व की बात आती है तो हम प्रमाणित गुंडे हैं.


हमें गुंडा होने के प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं: संजय राउत


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संजय राउत (Sanjay Raut) ने कहा कि मुंबई में शिवसेना भवन एक राजनीतिक दल का मुख्यालय ही नहीं, बल्कि महाराष्ट्र की पहचान का प्रतीक है और किसी को भी इसकी ओर कुदृष्टि डालने का दुस्साहस नहीं करना चाहिए. उन्होंने आगे कहा, 'किसी को हमें गुंडा होने का प्रमाण पत्र देने की जरूरत नहीं है, हम प्रमाणित हैं. जब मराठी गौरव और हिंदुत्व की बात आती है, तो हम प्रमाणित गुंडे हैं.'


शिवसेना भवन को टारगेट करेगा तो जवाब देंगे: संजय राउत


शिवसेना नेता संजय राउत (Sanjay Raut) ने आगे कहा, 'बालासाहेब ठाकरे (Balasaheb Thackeray) शिवसेना भवन में बैठा करते थे. अगर कोई शिवसेना भवन (Shiv Sena Bhavan) को टारगेट करेगा तो हम जवाब देंगे, अगर यह गुंडागर्दी कहलाता है तब हम गुंडे हैं.' उन्होंने कहा, 'शिवसेना भवन मराठी और महाराष्ट्र का प्रतीक है. अगर कोई परिसर पर हमले का प्रयास करेगा तो क्या मराठी मानुष और शिवसैनिक चुप रहेंगे?'


भवन में तोड़फोड़ करने आने थे बीजेपी कार्यकर्ता: शिवसेना विधायक


शिवसेना ने कहा कि उन्हें सूचना मिली थी कि भाजपा कार्यकर्ता पार्टी कार्यालय में तोड़फोड़ करने आ रहे हैं. न्यूज एजेंसी पीटीआई ने शिवसेना विधायक सदा सर्वणकर (Sada Sarvankar) के हवाले से कहा, 'हमें पहले बताया गया था कि भाजपा कार्यकर्ता (BJP Workers) विरोध करने आ रहे हैं. बाद में हमें पता चला कि वे सेना भवन में तोड़फोड़ करने आ रहे हैं, इसलिए हमने उन्हें उसके पास पहुंचने से पहले ही रोक दिया.'


स्पष्टीकरण मांगना क्या गुनाह हो गया है: संजय राउत


संजय राउत (Sanjay Raut) ने कहा, 'भाजपा इतने तैश में क्यों आ गई? संपादकीय में आखिर ऐसा क्या कहा था? इसमें तो आरोपों पर सिर्फ स्पष्टीकरण मांगा गया था और कहा गया था कि आरोप गलत निकलते हैं तो आरोप लगाने वालों को दंडित किया जाना चाहिए. इस देश में स्पष्टीकरण मांगना क्या गुनाह हो गया है? संपादकीय में कहीं भी यह नहीं कहा गया कि इसमें भाजपा शामिल है. क्या आप पढ़े लिखे नहीं हैं.'


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