पहली बार बिहार की सेंट्रल जेल में ATM की सुविधा, कैदियों को मिली बड़ी राहत!
बिहार के केंद्रीय कारावास में सजा काट रहे कैदियों के लिए एक खुशखबरी है. दरअसल, बहुत जल्द सेंट्रल जेल में कैदियों को कैश निकालने की सुविधा मिलने जा रही है.
नई दिल्लीः बिहार के केंद्रीय कारावास में सजा काट रहे कैदियों के लिए एक खुशखबरी है. दरअसल, बहुत जल्द सेंट्रल जेल में कैदियों को कैश निकालने की सुविधा मिलने जा रही है. जी हां, हाल ही में खबर मिली है कि बिहार के पुर्णिया जिले में स्थित केंद्रीय कारावास में कैदियों की सुविधाओं के लिए एटीएम की सेवाएं जल्द शुरू होने वाली है. तमाम कैदियों को एटीएम कार्ड भी जारी हो चुके हैं.
ये है जेल में ATM लगने का मकसद
पूर्णिया सेंट्रल जेल के आधिकारियों के मुताबिक, जल्द ही कारावास परिसर के अंदर एक एटीएम (Automated Teller Machine) इंस्टॉल की जाएगी ताकि कैदियों को उनके दैनिक उपयोग के लिए पैसे निकालने में मदद मिल सके. इसके साथ ही पूर्णिया सेंट्रल जेल ऐसा करने वाला बिहार का पहला जेल बन गया है. अधिकारियों ने बताया कि जेल प्रशासन का ये कदम कैदियों के परिवार के सदस्यों और परिचितों की भीड़ को जेल गेट पर रोककर उन्हें नकदी सौंपने के मकसद से उठाया गया है.
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400 कैदियों को मिल चुके हैं ATM कार्ड
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पूर्णिया सेंट्रल जेल के अधीक्षक (superintendent) जितेंद्र कुमार ने एक बयान में कहा है कि उन्होंने भारतीय स्टेट बैंक ऑफ इंडिया को जेल के संबंध में पत्र लिखा है. जितेंद्र कुमार ने बताया, ''मैंने भारतीय स्टेट बैंक (SBI) को एक पत्र लिखकर उनसे एटीएम स्थापित करने का अनुरोध किया है.'' पूर्णिया सेंट्रल जेल अधीक्षक के अनुसार, कुल 750 में से लगभग 600 कैदियों के खाते अलग-अलग बैंकों में हैं. अब तक 400 कैदियों को एटीएम कार्ड जारी किए जा चुके हैं जबकि बाकी को जल्द ही एटीएम कार्ड दिए जाएंगे.
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एटीएम लगने से कम होगी जेल की भीड़
अधीक्षक ने बताया कि कैदी डेली यूज की वस्तुएं जैसे साबुन, हेयर ऑयल और खाने-पीने की चीजें खरीदने के लिए कार्ड का इस्तेमाल कर सकेंगे. उन्होंने आगे कहा कि एटीएम की स्थापना से भीड़ को कम करने में मदद मिलेगी क्योंकि परिवार के सदस्य या अधिकांश कैदियों के परिचित पैसा देने के लिए आते हैं. जेल प्रशासन के नियम के अनुसार, हर कैदी को 500 रुपए रखने की अनुमति है. कैदियों को जनवरी 2019 तक चेक द्वारा भुगतान किया गया था और उसके बाद वे अपनी जमापूंजी को प्राप्त करने बैंक की लाइन में लगते थे.
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हर माह कैदियों को मिलता है इतना वेतन
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, केंद्रीय जेल में बंद कैदियों को उनके 4 से 8 घंटे के काम के लिए 52 रुपये से 103 रुपये के बीच वेतन दिया जाता है . ये मेहतनामा कैदियों के खातों में जमा किया जाता है. माना जा रहा है कि अगर जेल के अंदर 10 प्रस्तावित छोटे और कुटीर उद्योग स्थापित किए जाते हैं, तो उनकी मजदूरी 112 रुपये से बढ़कर 156 रुपये हो जाएगी. हाल ही में, कैदियों द्वारा बनाए गए फेस मास्क को कोसी और सीमांचल क्षेत्रों की विभिन्न जेलों को भी दिए गए थे.
नागपुर के सेंट्रल जेल में भी जारी हुए थे ATM कार्ड
आपको बता दें कि 4 साल पहले, नागपुर केंद्रीय जेल में कैदियों को परिसर के अंदर उपयोग के लिए एसबीआई एटीएम कार्ड जारी कराए गए थे. जेल को पायलट प्रोजेक्ट के रूप में चुना गया था. इस स्कीम का मकसद पूरे महाराष्ट्र की 9 सेंट्रल जेलों में 10,000 से अधिक कैदियों को एटीएम कार्ड की सुविधा देना का था.