25 साल का हुआ उत्तराखंड, देश के उत्तरी पहाड़ों इलाकों से कैसे बना उत्तरांचल और फिर उत्तराखण्ड
Uttarakhand Foundation Day 2024: उत्तराखंड को `देवताओं की भूमि` या `देवभूमि` के नाम से भी जाना जाता है. स्थापना के समय इसे उत्तरांचल के नाम से जाना जाता था.
Uttarakhand Foundation Day 2024: उत्तराखंड का 24वां स्थापना दिवस 9 नवंबर को मनाया जाएगा. उत्तराखंड अलग राज्य की मांग को लेकर कई वर्षों तक चले आंदोलन के बाद आखिरकार 9 नवंबर 2000 को उत्तराखंड अलग राज्य बन गया. 2006 तक इसे उत्तरांचल कहा गया, इसके बाद जनवरी 2007 में इसका नाम उत्तराखंड कर दिया गया. उत्तराखंड कई प्राचीन धार्मिक स्थलों के साथ ही देश की सबसे बड़ी नदियों गंगा और यमुना का उद्गम स्थल है. तो आइये जानते हैं उत्तराखंड का 24 साल पुराना इतिहास?.
उत्तरांचल से उत्तराखंड तक का सफर
उत्तराखंड को "देवताओं की भूमि" या "देवभूमि" के नाम से भी जाना जाता है. स्थापना के समय इसे उत्तरांचल के नाम से जाना जाता था. उत्तर भारत मे स्थित यह राज्य भारतीय तीर्थ स्थलों का एक अद्वितीय केंद्र है. हिमाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश, और हरियाणा भारतीय राज्यों सहित तिब्बत, और नेपाल की सीमा भी उत्तराखंड से लगती है. संस्कृत भाषा में उत्तराखंड शब्द का अर्थ "उत्तरी शहर" होता है.
2007 में औपचारिक रूप से इसका नाम बदलकर उत्तरांचल से उत्तराखंड कर दिया गया. उत्तराखंड चार सबसे पवित्र हिंदू मंदिरों का घर है, जिन्हें चारधाम के रूप में जाना जाता है. इसमें बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमनोत्री शामिल है.
उत्तराखंड अलग राज्य क्यों बनाया गया?
उत्तराखंड के गठन के कई कारण माने जाते हैं. एक मुख्य कारण हिमालय क्षेत्र के लोगों के लिए एक अलग राज्य की मांग थी. लोगों को लगता था कि वे उत्तर प्रदेश का हिस्सा होने के नाते विकास और संसाधनों का अपना उचित हिस्सा नहीं मिल रहा है. उन्हें यह भी लगता था कि उनकी विशिष्ट संस्कृति और पहचान को बड़े राज्य द्वारा दबा दिया जा रहा है.
इस बार जगह-जगह आयोजित किए जा रहे प्रवासी सम्मेलन
उत्तराखंड स्थापना दिवस को राज्य में सार्वजनिक अवकाश के रूप में मनाया जाता है. इस दिन राज्य भर में उत्सव मनाए जाते हैं. इस बार उत्तराखंड राज्य स्थापना की रजत जयंती के मौके पर प्रवासी सम्मेलन का आयोजन किया जा रहा है. देश के अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग क्षेत्र में अपने नाम का लोहा मनवाने वाले लोगों को इस कार्यक्रम में आमंत्रित किया गया है. उत्तराखंड स्थापना दिवस का उद्देश्य राज्य के गठन की याद दिलाना और राज्य की एकता और समृद्धि को बढ़ावा देना है. यह दिन राज्य के लोगों के लिए गर्व और उत्साह का दिन है.
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