Uttarakhand Weather News: उत्तराखंड में मानसून को पहुंचने में दो दिन का समय है. लेकिन आज (बुधवार) प्रदेश के ज्यादातर जिलों में तेज बारिश होने का ऑरेंज  अलर्ट जारी किया गया है.  मौसम विज्ञान केंद्र की ओर से देहरादून समेत पिथौरागढ़, बागेश्वर, नैनीताल, उत्तरकाशी, चमोली, रुद्रप्रयाग, अल्मोड़ा, चम्पावत, टिहरी और पौड़ी जिले में बिजली चमकने के साथ कई दौर की तेज बारिश का येलो अलर्ट जारी किया गया है. मंगलवार को दून का अधिकतम तापमान सामान्य से 6 डिग्री ज्यादा 37.9 डिग्री रहा. बुधवार को अधिकतम तापमान 38 डिग्री रहने की संभावना है.  पर्वतीय क्षेत्रों में वर्षा का दौर जारी है.


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 प्री-मानसून की तेज बारिश
मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह ने बताया, उत्तराखंड में मानसून पूरी तरह से 28 जून को प्रवेश करेगा.  इससे पहले कुछ जिलों में कहीं-कहीं प्री-मानसून की तेज बारिश होने की संभावना है.


भारी बारिश को  लेकर ऑरेंज अलर्ट
उत्तराखंड में भारी से भारी बारिश को लेकर ऑरेंज अलर्ट मौसम विभाग ने जारी किया है. प्रदेश के कुमाऊं क्षेत्र में भारी बारिश को लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. आज से 30 जून तक कुमाऊं के कई जनपदों में बारिश हो सकती है. मानसून अगले 24 घंटे में कुमाऊं में प्रवेश करेगा. नैनीताल, पिथौरागढ़, चंपावत, अल्मोड़ा, बागेश्वर जनपद में भारी बारिश हो सकती है.  गढ़वाल में रुद्रप्रयाग, चमोली, उत्तरकाशी पौड़ी में भारी बारिश की संभावना है. SDRF और एनडीआरएफ की टीम में संवेदनशील क्षेत्रों में तैनात है. भारी बारिश को लेकर प्रशासन भी अलग-अलग जगह अलर्ट है.


प्रशासन ने की हालात से निपटने की तैयारी
जनपद उधम सिंह नगर के जसपुर क्षेत्र में बरसात के दौरान बाढ़ के खतरे को देखते हुए स्थानीय प्रशासन ने क्षेत्र में बाढ़ से निपटने के पूरी तैयारियां कर ली हैं.  इसके लिए बाढ़ कंट्रोल रूम के अलावा बाढ़ चौकी तथा बाढ़ राहत केंद्र बनाए हैं. बाढ़ चौकी पर तैनात कर्मचारी दिन-रात नदियों पर नजर रखे हुए हैं.  उपजीलाधिकारी जसपुर गौरव चटवाल ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि बरसात के मद्देनजर राजपुर गांव में बाढ़ चौकी बनाई गई है जिसमें 24 घंटे कर्मचारियों की ड्यूटी तैनात की गई है. जब तक ये आपदा काल रहेगा तब तक ड्यूटी भी जारी रहेगी. इसके अतिरिक्त तहसील में बाढ़ केन्ट्रोल रूम बनाया गया है ओर ड्यूटी तैनात कर दी गई है.


कर्णप्रयाग- आपदा पीड़ितों की मुश्किलें
बरसाती सीजन में बहुगुणा नगर के आपदा पीड़ितों की मुश्किलें बढ़ने लगी हैं. 40 परिवार आपदा का दंश  झेल रहे हैं. बीते तीन सालों से प्रदेश सरकार से मदद की गुहार लगा रहे हैं. अभी तक विस्थापन नहीं हो पाया और न ही उचित मुआवजा मिल पाया. बीती देर शाम को आई भारी बारिश से लोगों के घरों में पानी घुस गया.


बागेश्वर-पानी का संकट
नदियों से घिरे बागेश्वर में लगातार हो रही बारिश के बाद भी पानी का संकट बना हुआ है. कई इलाकों में लोगों को सुबह से शाम तक पीने के पानी के इंतजाम में लगा रहना पड़ता है. सबसे अधिक दिक्कत में नगर के मंडलसेरा, जीतनगर के लोगों को हैं. नगर के मंडलसेरा और जीतनगर में पीने के पानी को लेकर वर्षभर हाहाकार मचा रहता है. जल संस्थान ने मंडलसेरा क्षेत्र में नए कनेक्शन देने पर रोक लगाई है. जिन घरों में कनेक्शन हैं, वहां भी पर्याप्त पानी नहीं मिलता.


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