Haridwar News : बैसाखी  का पर्व धर्म नगरी हरिद्वार में पूरी श्रद्धा और उल्लास के साथ मनाया जा रहा है. हर की पैड़ी समेत विभिन्न गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं की भीड़ है. देश भर से आये श्रद्धालुगण माँ गंगा में स्नान करके माँ गंगा से आराधना कर रहे है. पुलिस प्रशासन द्वारा यात्रियों की सुरक्षा को लेकर भी कड़े इंतेजाम किये गए है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

 


दरअसल बैसाखी  के अवसर पर गेंहू की फसल तैयार हो जाती है और इस दिन से फसल कटनी शुरू हो जाती है जबकि इसी दिन खालसा पंथ की स्थापना भी की गयी थी ,यही बजह है कि यह त्यौहार पंजाबी समुदाय में खासी धूमधाम से मनाया जाता है ,बैसाखी  पर गंगा स्नान का  का विशेष महत्व है,स्नान का महत्व होने से हरिद्वार में बड़ी संख्या में श्रद्धालु आये है और माँ गंगा का स्नान कर दान ,भंडारा आदि कर रहे है. पुलिस प्रशासन द्वारा यात्रियों की सुरक्षा को लेकर भी कड़े इंतेजाम किये गए है.


पंडित मनोज त्रिपाठी का कहना है कि बैसाख मास पूरा का पूरा ही भगवान को बड़ा पुण्यदायी और प्रिय है प्रतिपदा से लेकर अमावस्या तक बैसाख में किसी ना किसी प्रकार के तीर्थ पर जाकर स्नान के द्वारा जल में स्नान करने से बड़ा पुण्य प्राप्त होता है. ऐसे लोग जिन लोगों ने प्रारब्ध में भी जीवन में कभी कोई पाप किया हो उस जल मात्र में स्नान करने मात्र से पाप नष्ट होने शुरू हो जाते हैं और उनके पुण्य के प्रभाव से व्यक्ति जीवन में सफल होना शुरू हो जाता है.


इस बैसाख संक्रांति का विशेष तौर पर महत्व है इसे हम बैसाखी कहते हैं बड़ा पूण्य दाई बताया गया है जिन लोगों को अपने कामों में अनिश्चितता आती है वह आ कर गंगा स्नान करके दान करे अगर आप गंगा तट पर नहीं जा सकते तो आपने स्नान के जल में ही गंगा का ध्यान करके तुलसी पत्र डालकर उसमें स्नान करें तो आपको हर की पैड़ी ब्रह्मकुंड में स्नान करने जैसा फल प्राप्त हो जाएगा. साथ ही स्नान करने के पश्चात  दान करे तो पुण्य लाभ मिलता है.


यह भी पढ़ें- Happy Baisakhi 2024 Wishes:अपनों को दें बैसाखी की लख-लख बधाइयां, इन खूबसूरत मैसेज से भेजे शुभकामनाएं