Railway Intresting Facts: एक तार पर कैसे बिना रुके दौड़ती है ट्रेन, ऐसे होती है इलेक्ट्रिक इंजन में सप्लाई
Railway Intresting News: क्या आपको मालूम है कि इलेक्ट्रिक इंजन कैसे काम करता है और ट्रेन एक ही तार पर कैसे दौड़ती है. जबकि घरों में लाइट के लिए दो तार की जरूरत होती है. चलिए आइए जानते हैं.
Railway Intresting News: ट्रेन में सुविधाओं को दिन ब दिन बेहतर किया जा रहा है. एक समय था जब ट्रेनें कोयला से चला करती थीं. इसके बाद डीजल वाली ट्रेनों का संचालन होने लगा. अब ज्यादातर रूट पर इलेक्ट्रिक ट्रेनें चलाई जा रही हैं. इसका फायदा ट्रेनों की स्पीड बढ़ाने में मिला है. लेकिन क्या आपको मालूम है कि इलेक्ट्रिक इंजन कैसे काम करता है और ट्रेन एक ही तार पर कैसे दौड़ती है. जबकि घरों में लाइट के लिए दो तार की जरूरत होती है. चलिए आइए जानते हैं.
ट्रेन को कैसे पहुंचती है लाइट?
इलेक्ट्रिक इंजन की बात करें तो इसको लाइट ट्रैक के ऊपर से गुजरने वाले तार से मिलती है. आपने गौर किया हो तो देखा होगा कि ट्रेन के इंजन के ऊपर एक एंगल जैसी चीज लगी होती है, जिसे पेंटोग्राफ कहा जाता है. इसी के जरिए तार से लाइट इंजन तक पहुंचती है. पहले बिजली ट्रेन के ट्रांसफर में जाती है. यहां से वोल्टेज को कंट्रोल किया जाता है. लोको पायलट इसे नॉच की मदद से कंट्रोल करता है.
कितने वोल्टेज की जरूरत
इलेक्ट्रिक ट्रेन को चलाने के लिए 25 हजार वोल्टेज की जरूरत होती है. रेलवे को बिजली की सप्लाई सीधे पॉवर ग्रिड से होती है. इसीलिए इसमें कभी भी लाइट नहीं जाती है. ग्रिड में पॉवर प्लांट से सप्लाई की जाती है. आपने गौर किया हो तो देखा होगा कि रेलवे स्टेशन के किनारे बिजली के सब स्टेशन होते हैं. डायरेक्ट सप्लाई की वजह से यहां ट्रिपिंग नहीं होती है.
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