जेल से रिहा होगा जौनपुर का बाहुबली धनंजय सिंह, हाईकोर्ट के फैसले से दिलचस्प होगा लोकसभा चुनाव
Dhananjay Singh : नमामि गंगे परियोजना के तहत एसटीपी प्रोजेक्ट मैनेजर अभिनव सिंघल के अपहरण मामले में जौनपुर की एमपीएमएलए कोर्ट ने धनंजय सिंह को दोषी ठहराते हुए 7 साल की सजा सुनाई थी..
Dhananjay Singh : पूर्वांचल की जौनपुर लोकसभा सीट पर चुनावी मुकाबला दिलचस्प होने जा रहा है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने शनिवार को जौनपुर के पूर्व सांसद धनंजय सिंह को जमानत पर रिहा कर दिया. फैसले के कुछ ही घंटे पहले बाहुबली सांसद धनंजय सिंह को जौनपुर जेल से बरेली जेल शिफ्ट कर दिया गया था. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने जौनपुर की एमपीएमएलए कोर्ट के फैसले को बरकरार रखा है.
एमपीएमएलए कोर्ट का फैसला बरकरार
दरअसल, नमामि गंगे परियोजना के तहत एसटीपी प्रोजेक्ट मैनेजर अभिनव सिंघल के अपहरण मामले में जौनपुर की एमपीएमएलए कोर्ट ने धनंजय सिंह को दोषी ठहराते हुए 7 साल की सजा सुनाई थी. जौनपुर की एमपीएमएलए कोर्ट के फैसले के खिलाफ धनंजय सिंह ने इलाहाबाद हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. इसमें धनंजय सिंह ने 7 साल की सजा रद्द करने और जमानत पर रिहा करने की मांग की थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने धनंजय सिंह की याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया था.
25 मई को होना है चुनाव
शनिवार को जस्टिस संजय कुमार सिंह की सिंगल बेंच ने धनंजय सिंह की याचिका को खारिज कर दिया. कोर्ट ने निचली अदालत के फैसले को बरकरार रखा है. हालांकि, कोर्ट ने धनंजय सिंह को जमानत पर रिहा कर दिया है. कोर्ट के आदेश के बाद अब बाहुबली पूर्व सांसद जेल से बाहर आ सकेगा. बता दें कि जौनपुर लोकसभा सीट पर 25 मई को मतदान होना है. धनंजय सिंह की पत्नी श्रीकला बसपा के टिकट से चुनाव मैदान में हैं. वहीं, बीजेपी से कृपाशंकर सिंह चुनाव लड़ रहे हैं. उधर, शनिवार सुबह ही जौनपुर पुलिस ने शासन के आदेश का हवाला देते हुए धनंजय सिंह को बरेली जेल में शिफ्ट कर दिया. धनंजय सिंह का जेल क्यों बदला गया, इस बारे में कोई भी अधिकारी बोलने को तैयार नहीं था.
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