घांघरिया गांव उत्तराखंड राज्य के चमोली जिले में स्थित है. यह गांव हेमकुंड साहिब और फूलों की घाटी के प्रवेश द्वार के रूप में जाना जाता है.
यह सिखों का एक प्रसिद्ध तीर्थ स्थान है जो हिमालय में 4632 मीटर की ऊंचाई पर एक बर्फ़ीली झील के किनारे सात पहाड़ों के बीच स्थित है. इन सात पहाड़ों पर निशान साहिब झूलते हैं.
यह राष्ट्रीय उद्यान अपनी विविध प्रकार की फूलों की प्रजातियों के लिए प्रसिद्ध है. अगर आप प्रकृति प्रेमी हैं और वनस्पति और वादियां आपको लुभाती हैं तो यहां जरूर आएं. यह भारत की सबसे सुंदर जगहों में से एक है.
घांघरिया गांव अपने आप में एक आकर्षण है. यहां आप स्थानीय संस्कृति का अनुभव कर सकते हैं. आलू के गुटके, गहत, चैंसू और कापा जैसे कुछ अद्भुत गढ़वाली और कुमाउनी व्यंजन भी यहां पर जरूर आज़माएं.
घांघरिया गांव में कई होटल और गेस्ट हाउस हैं। आप अपनी बजट और पसंद के अनुसार कोई भी जगह चुन सकते हैं. यदि आप कम खर्च में रहना चाहते हैं, तो आप धर्मशाला या लॉज में भी रुक सकते हैं.
घांघरिया गांव जाने का सबसे अच्छा समय मई से अक्टूबर तक है. इस दौरान मौसम सुखद होता है और आप आसपास के दर्शनीय स्थलों की यात्रा का आनंद ले सकते हैं.
अगर आप स्नोफॉल और बर्फ से लकदक वादियों का मजा लेना चाहते हैं तो आप यहां सर्दियों में आएं. सर्दियों में यह गांव बर्फ से ढक जाता है और तापमान गिर जाता है.
घांघरिया गांव ऋषिकेश, गोपेश्वर और जोशीमठ से सड़क मार्ग द्वारा अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है. आप इन शहरों से टैक्सी या बस किराए पर ले सकते हैं.
ऋषिकेश यहां से निकटतम रेलवे स्टेशन है जो घांघरिया गांव से 250 किलोमीटर दूर है. आप ऋषिकेश तक ट्रेन से जा सकते हैं और फिर वहां से टैक्सी या बस किराए पर ले सकते हैं.
देहरादून निकटतम हवाई अड्डा है, जो घांघरिया गांव से 220 किलोमीटर दूर है. आप देहरादून तक उड़ान भर सकते हैं और फिर वहां से टैक्सी या बस किराए पर ले सकते हैं.
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