आईएएस बनने को फर्जी विकलांग सर्टिफिकेट का इस्तेमाल? वायरल वीडियो के बाद सवालों के घेरे में जौनपुर के अभिषेक सिंह
Ex ias abhishek singh controversy: महाराष्ट्र कैडर की ट्रेनी आईएएस पूजा खेडकर के बाद अब पूर्व आईएएस अभिषेक सिंह की नियुक्ति को लेकर भी सोशल मीडिया पर चर्चा छिड़ी हुई है. आरोप है कि अभिषेक सिंह ने एग्जाम पास करने के लिए फर्जी विकलांगता सर्टिफिकेट का इस्तेमाल किया था.
Ex ias abhishek singh controversy: महाराष्ट्र कैडर की ट्रेनी आईएएस पूजा खेडकर के बाद अब पूर्व आईएएस अभिषेक सिंह की नियुक्ति को लेकर भी सोशल मीडिया पर चर्चा छिड़ी हुई है. आरोप है कि अभिषेक सिंह ने एग्जाम पास करने के लिए फर्जी विकलांगता सर्टिफिकेट का इस्तेमाल किया था. विवाद तब हुआ जब उनका जिम में एक्सरसाइज और डांस का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ. अभिषेक सिंह ने भी विवाद पर प्रतिक्रिया दी है.
सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दी प्रतिक्रिया
पूर्व आईएएस ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर लिखा, "वैसे तो मुझे किसी आलोचना से कोई फ़र्क़ नहीं पड़ता, पर ये मेरे जीवन काल में पहली बार है जब मैं अपने आलोचकों को जवाब दे रहा हूँ, और वो इसलिए क्योंकि मेरे हज़ारो समर्थक मुझसे कह रहे हैं कि आप जवाब दें नहीं तो हमारा मनोबल टूट जाएगा. अतः ये मेरा नैतिक कर्तव्य है कि मैं सच्चाई सामने रखूं जिससे उनका भरोसा ना टूटे. तो ये जवाब मेरे समर्थकों को समर्पित है ना कि आलोचकों को."
'यूपीएससी में नहीं लगता डोमिसाइल सर्टिफिकेट'
"आपको ये भी बता दूँ कि UPSC में कोई डोमिसाइल certificate नहीं लगता. जिसने भी UPSC दिया है उसको पता होगा तो ये फ़र्ज़ी प्रॉपगैंडा बंद करें. जिसको जो भी पूछना है मैं जवाब देने के लिए तैयार हूं."
पिता के IPS होने का फायदा लेने पर दिया जवाब
"कहा गया कि मेरे पिताजी IPS अधिकारी थे इसलिए मुझे फ़ायदा मिला, आपको बता दूं, मेरे पिताजी एक बहुत ग़रीब परिवेश से निकलकर PPS अधिकारी बने, IPS में प्रमोट हुए थे. उनकी 3 सन्तानें हैं, यानी मेरी एक छोटी बहन और एक छोटा भाई. उन्होंने भी UPSC की तैयारी करी पर सेलेक्शन नहीं हो सका, इसके अलावा मेरे 7 और कजिंस ने प्रयास किया, कई कर भी रहे हैं, अभी तक किसी का भी सेलेक्शन नहीं हो सका है. अपने खानदान में मैं इकलौता IAS में चयनित हुआ.''
'...आंदोलन करूंगा'
आगे लिख्, "मैंने अब तक के जीवन में जो भी ठाना है, वो पाया है अपनी मेहनत और लगन से. तो अब जब बात छेड़ ही दी है, तो एक और संकल्प ले रहा हूँ. इस देश में सरकार के संसाधन जहाँ जहाँ भी खर्च होंगे, न्यायसंगत तरीक़े से ही होने चाहिए. सरकार की नौकरियाँ में आरक्षण जनसंख्या के अनुरूप होना चाहिए. अब मैं आंदोलन शुरू करूँगा और इस 50% की सीलिंग को हटाकर जनसंख्या के अनुरूप आरक्षण की माँग रखूँगा और उसको संवैधानिक तौर पर पूरा कराऊँगा."
"छुई-मुई नहीं जो डर कर बैठ जाउंगा"
भविष्य में मुझपर आक्षेप लगाने से पहले दो बार सोच लेना, मैं कोई छुई मुई नहीं हूँ जो डर के बैठ जाऊँगा। अपनी प्रतिभा, अपने आत्मविश्वास और अपने साहस के दम पर चलता हूँ, किसी के बाप के दम पर नहीं।
कौन हैं पूर्व आईएस अभिषेक सिंह?
अभिषेक सिंह 2011 कैडर के पूर्व आईएएस अधिकारी हैं. उन्होंने यूपीएएससी में 94 रैंक हासिल की थी. 2013 में उनको झांसी में जॉइंट मजिस्ट्रेट तैनाती मिली थी. उन्होंने बीते साल अक्टूबर 2023 में नौकरी से इस्तीफा दे दिया था. सरकार की मंजूरी के बाद उनका इस्तीफा स्वीकार भी कर लिया गया था. अभिषेक सिंह ने बतौर एक्टर फिल्मों में भी हाथ आजमाया है. अभिषेक सिंह यूपी के जौनपुर जिले के टिसौरा गांव के रहने वाले हैं. उनके पिता कृपाशंकर आईपीएएस थे जो मेरठ के डीआईजी पद से रिटायर हुए.
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