Who will Be the New CM of Rajasthan: राजस्थान विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 115 सीटें जीतकर बहुमत पा लिया है और कांग्रेस 69 सीटों पर सिमट गई है. अशोक गहलोत की अगुवाई में कांग्रेस रिवाज बदलने में नाकाम रही. पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को राजस्थान में मुख्यमंत्री पद का बड़ा दावेदार बताया जा रहा है. सीएम योगी जैसी छवि वाले बाबा बालकनाथ, प्रदेश अध्यक्ष सीपी जोशी, केंद्रीय मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़, गजेंद्र सिंह शेखावत भी होड़ में बताए जाते हैं. वसुंधरा राजे ने घर पर विधायकों को डिनर देकर सियासी गोटियां सेट करना भी शुरू कर दिया है. 


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अगले चार पांच महीने बाद लोकसभा चुनाव होने हैं, ऐसे में पार्टी किसी नए नवेले शख्स को राज्य की कमान देने का जोखिम शायद ही मोल ले. हालांकि वसुंधरा राजे के पास अनुभव तो है, लेकिन पार्टी में सबको साथ लेकर न चलने की कमी उन पर भारी पड़ी है. यही वजह थी कि शायद पार्टी ने उन्हें मुख्यमंत्री पद के चेहरे के तौर पर पेश नहीं किया. 


अर्जुन राम मेघवाल भी मुख्यमंत्री पद की दौड़ में हैं, वो तीन बार के सांसद हैं.पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनियां भी सीएम पद की रेस से दूर नहीं है. 
विद्याधर नगर सीट से विधानसभा चुनाव लड़ रहीं बीजेपी सांसद दीया कुमारी भी दावेदारों की लिस्ट में हैं.


लेकिन बीजेपी का शीर्ष नेतृत्व हमेशा ही मुख्यमंत्री पद को लेकर चौंकाता रहा है. पार्टी राजस्थान में स्पष्ट बहुमत पार दिख रही है, ऐसे में निर्दलीयों और बागियों की जरूरत शायद ही पड़े, ऐसे में वसुंधरा राजे पर पार्टी की ज्यादा निर्भरता कम ही दिख रही है. 


राजस्थान में कांग्रेस सरकार के ज्यादातर मंत्री पिछड़ते हुए दिखाई दे रहे हैं. शांति धारीवाल, प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटसरा भी हारते हुए लग रहे हैं. जबकि बागी उम्मीदवारों ने भी कांग्रेस की चूलें हिला दी हैं. अशोक गहलोत के ज्यादातर सिपहसालार हारते हुए दिख रहे हैं. गहलोत को असंतोष के बावजूद मंत्रियों को टिकट देना भारी पड़ता दिख रहा है. हिन्दुत्व का मुद्दा बीजेपी के पक्ष में जाता साफ दिखाई दे रहा है. 


राजस्थान में 25 नवंबर को कुल 200 विधानसभा सीटों में से 199 सीटों पर मतदान (Rajasthan Vidhansabha Chunav 2023 Result) हुए. 33 जिलों की इन सीटों पर अब मतगणना आज सुबह 8 बजे से शुरू हो जाएगी. वोटों की गिनती शुरू होते ही रूझान आने शुरू हो जाएंगे. शाम होते-होते तस्वीर साफ होने लगेगी कि अगले पांच साल तक राजस्थान की बागडोर किसके हाथ में जाएगी.


चुनावी बयार के बीच सीएम फेस को लेकर चर्चाएं शुरू हो गई हैं. खास बात यह है कि इस बार अभी तक कांग्रेस या भाजपा दोनों ही दलों ने अपने सीएम फेस से पर्दा नहीं हटाया है. ऐसे में लोग जानना चाहते हैं कि आखिर राजस्थान का नया सीएम कौन होगा?. क्या कांग्रेस के जीतने पर अशोक गहलोत और बीजेपी की जीत पर वसुंधरा राजे को एक बार फिर से मुख्यमंत्री बनाया जाएगा? या फिर पार्टी अपने दिग्गजों को छोड़कर किसी नए चेहरे को कमान सौंपेगी.  


बीते तीन दशक में किस पार्टी ने किसे बनाया मुख्यमंत्री? 
4 दिसंबर 1993 से 29 नवंबर 1998 तक,  भारतीय जनता पार्टी, भैरों सिंह शेखावत 
1 दिसंबर 1998 से 8 दिसंबर 2003 तक, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, अशोक गहलोत 
8 दिसंबर 2003 से 11 दिसंबर 2008 तक, भारतीय जनता पार्टी, वसुंधरा राजे सिंधिया 
12 दिसंबर 2008 से 13 दिसंबर 2013 तक, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, अशोक गहलोत 
13 दिसंबर 2013 से 16 दिसंबर 2018 तक, भारतीय जनता पार्टी, वसुंधरा राजे सिंधिया 
17 दिसंबर 2018 से अब तक, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, अशोक गहलोत 


बीजेपी जीती तो सीएम कौन? फेहरिस्त में एक दर्जन से ज्यादा नाम (Who will Be the CM Face of BJP in Rajasthan) 
भाजपा ने सीएम फेस को लेकर कोई ऐलान नहीं किया है. पूरे चुनाव में बीजेपी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चेहरे और पार्टी के निशान 'कमल' के दम पर लड़ी है. हालांकि, चुनाव के दौरान कई नेताओं ने जरूर कहा यह बात स्पष्ट की थी कि जीत हासिल करने के बाद ही भाजपा का शीर्ष नेतृत्व इसका फैसला करेगा. फिलहाल भाजपा की ओर से सीएम पद के दावेदारों की फेहरिस्त काफी लंबी है. इस लिस्ट में करीब वसुंधरा राजे, दीया कुमारी समेत एक दर्जन नाम शामिल हैं.


वसुंधरा राजे
सीएम बनने की रेस में वसुंधरा राजे सबसे आगे हैं. वह राजस्थान की दो बार मुख्यमंत्री रह चुकी हैं. उन्हें सरकार चलाने का अनुभव है. इसके साथ ही राज्य की सबसे ज्यादा लोकप्रिय नेताओं में से एक हैं. ऐसे में पार्टी अपनी दिग्गज और अनुभवी नेता पर एक बार फिर भरोसा जता सकती है. 


महंत बालकनाथ
वहीं, दूसरे नंबर पर जो नाम सबसे चर्चित है, वह बीजेपी सांसद महंत बालकनाथ का है. वह मस्तनाथ मठ के आठवें महंत हैं. उनकी तुलना यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ से की जा रही है. वह ओबीसी वर्ग से आते हैं. पार्टी ने उन्हें तिजारा विधानसभा सीट से चुनाव लड़वाया है. चर्चा है कि यूपी की तरह ही बीजेपी राजस्थान में भी एक संत को मुख्यमंत्री बना सकती है.


दीया कुमारी
इसके बाद जयपुर राजघराने से आने वाली दीया कुमारी का नाम है. उन्हें वसुंधरा राजे का विकल्प बताया जा रहा है. दीया सांसद है, लेकिन पार्टी ने उन्हें इस विधानसभा चुनाव में विद्याधरनगर सीट पर लड़ाया है.   


ये नाम भी रेस में शामिल
इन तीन नेताओं के अलावा केंद्र सरकार में जल शक्ति मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत का नाम भी रेस में है. वो जोधपुर लोकसभा सीट से सांसद है. उनकी राजस्थान में अच्छी पकड़ मानी जाती है. इसके अलावा राजस्थान भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सीपी जोशी, सतीश पूनिया, राजेंद्र राठौड़, केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल, लोकसभा स्पीकर ओम बिरला, सांसद राज्यवर्धन राठौड़ समेत कई नाम शामिल हैं.


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