बहराइच: ब्लॉक प्रमुख के चुनाव में बेलवा पदुम गांव की रहने वाली एक ऐसी महिला ब्लॉक प्रमुख निर्वाचित हुई है. जिसका पति मजदूरी कर परिवार चलाता है. सीट आरक्षित होने पर बारहवीं पास गीता देवी ने चुनाव लड़ने का फैसला किया. और अपने इलाके की ब्लॉक प्रमुख बनकर अब गांव का विकास करने का भरोसा दे रही हैं. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

पति मनरेगा में करते हैं मजदूरी
उत्तरप्रदेश में हुए ब्लॉक प्रमुख में बॉर्डर के जिले बहराइच में लोकतंत्र की एक अलग तस्वीर सामने आई है. पयागपुर ब्लॉक के क्षेत्र पंचायत सदस्यों ने गीता देवी को अपना ब्लॉक प्रमुख चुना है. आप को बता दें कि बेलवा पदुम गांव निवासी गीता देवी के पति पवन कुमार मनरेगा में मजदूरी करते हैं. अनुसूचित जाति से ताल्लुक रखने वाले परिवार का मजदूरी ही जीविकोपार्जन का एक मात्र सहारा है. रहने के लिये जो घर है वो कुछ पक्का तो कुछ टिन शेड का है. 


सीट आरक्षित होने पर किया चुनाव लड़ने का फैसला
उनके लिए ब्लॉक प्रमुख बनना किसी सपने से कम नहीं था. त्रिस्तरीय आरक्षण व्यवस्था के चलते बेलवा पदुम कमाल सतरही सीट अनुसूचित महिला के लिए आरक्षित हो गई. इंटर तक शिक्षित गीता देवी ने चुनाव लड़ने का फैसला किया. उनकी शिक्षा और विनम्रता लोगों को भी रास आई और वह निर्विरोध बीडीसी सदस्य चुन ली गईं.


ऐसे मिली ब्लॉक प्रमुख की कुर्सी
संयोग से ब्लॉक प्रमुख की कुर्सी भी अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित हो गई. ऐसे में भाजपा ने अनूसूचित वर्ग की शिक्षित एवं पार्टी के प्रति निष्ठावान महिला कार्यकर्ता की तलाश शुरू की. 40 वर्षीय गीता देवी का नाम इलाके के लोगों की जुबान पर आया. फिर क्या था भाजपा जिलाध्यक्ष सहित प्रदेश नेतृत्व को भी उनका नाम पसंद आ गया और पार्टी ने उन्हें उम्मीदवार घोषित कर दिया. यहां एक और उम्मीदवार कुसुमा देवी मैदान में थीं, लेकिन उनके मैदान से हटने से गीता देवी निर्विरोध ब्लॉक प्रमुख बनीं.


बता दें कि उत्तरप्रदेश में हुए ब्लॉक प्रमुख चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने रिकॉर्ड तोड़ जीत दर्ज कराया . यूपी की 825 ब्लॉकों में से भाजपा ने 626 सीटों पर अपनी जीत का परचम लहराया. 


सीएम योगी ने कही ये बात
ब्लॉक प्रमुख के चुनाव में बीजेपी की बड़ी जीत के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा, ''पीएम नरेंद्र मोदी ने आज से 7 साल पहले इस देश को ''सबका साथ सबका विकास'' का नारा दिया था. जो योजनाएं बनाईं, वो जनता तक पहुंचीं भी. प्रदेश सरकार और संगठन ने योजनाओं को लोगों तक पहुंचाया. पंचायत चुनाव के परिणाम इसी का जीवंत उदाहरण हैं.


WATCH LIVE TV