Maywati on Loksabha Election : इन दिनों सियासी गलियारों में एक सवाल सबसे अधिक पूछा जा रहा है. मायावती लोकसभा चुनाव में बीजेपी के नेतृत्व वाले NDA का साथ देंगी या इंडिया का. फिलहाल उन्होंने लोकसभा चुनाव में यूपी में जोर देने का संकेत दिया है.
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लखनऊ : बीएसपी प्रमुख मायावती लोकसभा चुनाव को लेकर रणनीतियों को अंतिम रूप दे रही हैं. मायावती लखनऊ में 15 अगस्त से डेरा डालेंगी. बसपा प्रमुख मायावती यूपी में लोकसभा चुनाव की तैयारियों का जायजा लेंगी. इसके लिए प्रदेश अध्यक्ष विश्वनाथ पाल को निर्देश जारी पूरी रिपोर्ट तैयार करने को कहा गया है. 16 अगस्त से आकाश आनंद राजस्थान में पद यात्रा शुरू करेंगे. बसपा प्रमुख मायावती पिछले 5 जुलाई से दिल्ली प्रवास पर हैं. इससे पहले बसपा सुप्रीमो ने बूथ से लेकर संगठन को मजबूत करने के निर्देश जारी किए थे. बसपा प्रदेश अध्यक्ष ने जिला से रिपोर्ट मंगवाना शुरू कर दिया है.
अब लोकसभा चुनाव पर फोकस
मायावती का पूरा फोकस लोकसभा चुनाव पर है. वह चुनाव से पहले किसी भी गठबंधन का हिस्सा नहीं बनना चाहती हैं. बसपा ने दोनों गठबंधनों से अलग रहकर चुनाव लड़ने का एलान किया है. ऐसे में बसपा को अपनी तैयारियों को भी उसी मजबूती से धार देनी होगी. यही वजह है कि मायावती अब लखनऊ में बैठकों का दौर शुरू कर रही हैं. प्रदेश अध्यक्ष विश्वनाथ पाल भी बैठकों की तैयारियों में लग गए हैं और उन्होंने सभी जिलों से रिपोर्ट मंगानी शुरू कर दी है.
वहीं मायावती तीन राज्यों के विधानसभा चुनाव में भी सक्रिय हैं. सोमवार को उन्होंने सोशल मीडिया के जरिए तीन राज्यों में होने वाले चुनाव से पहले बीजेपी और कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा. पहले ट्वीट में उन्होंने कहा कि ''मध्यप्रदेश सरकार में 50 प्रतिशत कमीशनखोरी के आरोप को लेकर कांग्रेस व भाजपा के बीच जारी आरोप-प्रत्यारोप, मुकदमों आदि की राजनीति से कमरतोड़ महंगाई, गरीबी, बेरोजगारी, शोषण-अत्याचार आदि जनहित से जुड़े ज्वलन्त मुद्दों का चुनाव के समय पीछे छूट जाना कितना उचित? ऐसा क्यों?''
1. मध्यप्रदेश सरकार में 50 प्रतिशत कमीशनखोरी के आरोप को लेकर कांग्रेस व भाजपा के बीच जारी आरोप-प्रत्यारोप, मुकदमों आदि की राजनीति से कमरतोड़ महंगाई, गरीबी, बेरोजगारी, शोषण-अत्याचार आदि जनहित से जुड़े ज्वलन्त मुद्दों का चुनाव के समय पीछे छूट जाना कितना उचित? ऐसा क्यों?
— Mayawati (@Mayawati) August 14, 2023
दूसरे ट्वीट में उन्होंने कहा कि ''भाजपा-शासित मध्यप्रदेश ही नहीं बल्कि कांग्रेस के राजस्थान व छत्तीसगढ़ में भी भ्रष्टाचार अहम मुद्दा, किन्तु इनकी जनविरोधी नीतियों व विकास के हवाहवाइ दावों के कारण सर्वसमाज के गरीबों, बेरोजगारों, किसानों, महिला असुरक्षा आदि का त्रस्त जीवन इन तीनों राज्यों में असली चुनावी मुद्दे.'' एक अन्य ट्वीट में मायावती ने सियासी वार करते हुए कहा कि '' बीएसपी इन तीनों राज्यों में भाजपा व कांग्रेस सरकारों के खिलाफ जनहित व जनकल्याण के खास मुद्दों को लेकर अकेले अपने बूते पर विधानसभा का यह चुनाव लड़ रही है जिसके लिए उम्मीदवारों के नाम भी स्थानीय स्तर पर घोषित किए जा रहे हैं. पार्टी को भरोसा है कि वह अच्छा रिजल्ट हासिल करेंगी.''
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