विनोद कांडपाल/नैनीताल: नैनीताल हाई कोर्ट (Nainital High Court) ने बुधवार को उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव (Uttarakhand Chunav 2022) स्थगित किये जाने को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. हाईकोर्ट ने भारत निर्वाचन आयोग (Election Commission) को दिशा-निर्देश दिए हैं. न्यायालय ने आयोग से वर्चुअल रैली और ऑनलाइन वोटिंग का विकल्प रखने को कहा है. इसको लेकर आयोग से 12 जनवरी को अपना जवाब दाखिल करने को कहा है. 


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"रैलियों में कोरोना संक्रमण फैलने की पूरी संभावना"
आज सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता द्वारा न्यायालय को बताया गया कि राज्य में पॉजिटिविटी रेट 0.11 से बढ़कर 1.90 प्रतिशत हो गया है. अधिवक्ता शिव भट्ट ने हाईकोर्ट में पहले से विचाराधीन सचिदानन्द डबराल व अन्य बनाम यूनियन ऑफ इंडिया संबंधी जनहित याचिका में कोर्ट के आदेशों के विपरीत विभिन्न राजनैतिक दलों द्वारा कोविड नियमों के विपरीत की जा रही रैलियों की तस्वीरें संलग्न कर एक प्रार्थना पत्र पेश किया. जिसमें उन्होंने कहा है कि इन रैलियों में कोरोना संक्रमण फैलने की पूरी संभावना है. इनके द्वारा कोविड के नियमों का उल्लंघन किया जा रहा है. 


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प्रार्थना पत्र में नए वैरिएंट का भी जिक्र 
अधिवक्ता शिव भट्ट ने अपने प्रार्थना पत्र में कोरोना के नए वैरिएंट का भी जिक्र किया है. उन्होंने कहा कि यह कोविड के किसी भी अन्य संस्करण की तुलना में 300% से अधिक तेजी से फैल रहा है. इसलिए लोगों के जीवन की रक्षा के लिए यह आवश्यक हो गया है कि चुनावी रैलियों जैसी बड़ी सभाओं से बचा जाए. 


चुनाव स्थगित करने की मांग 
याचिका में सभी राजनीतिक दलों को यह निर्देश देने की भी मांग की गई है कि वे अपनी रैलियां वर्चुअल रूप से ही करें. उन्होंने यह भी कहा है कि विधान सभा के चुनाव स्थगित किए जाएं. इसके साथ ही इस संबंध में चुनाव आयोग भारत सरकार को निर्देश दिए जाएं. 


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