Uttarakhand Joshimath: उत्तराखंड (Uttarakhand) के जोशीमठ (Joshimath) के डूबने की आशंकाओं के बीच ISRO ने एक और चौंकाने वाली रिपॉर्ट पेश की है. ISRO ने भूस्खलन एटलस जारी किया है. इसके मुताबिक जोशीमठ के अलावा देश के कई जिलों में भुस्खलन का खतरा मंडरा रहा है. इस सर्वे के मुताबिक रुद्रप्रयाग और टिहरी गढ़वाल सिर्फ उत्तराखंड में ही नहीं बल्कि पूरे भारत में भूस्खलन जोखिम वाले टॉप जिले हैं. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

टॉप पर उत्तराखंड के 2 जिले
बता दें कि रुद्रप्रयाग जिला केदारनाथ और बद्रीनाथ के चारधाम तीर्थों का प्रवेश द्वार है. रिपोर्ट में बताया गया कि देश के शीर्ष 10 जिले जो भूस्खलन से सबसे अधिक प्रभावित हैं, उनमें से 2 जिले सिक्किम के भी हैं- दक्षिण और उत्तरी सिक्किम. इसके साथ ही 2 जिले जम्मू-कश्मीर और 4 जिले केरल के हैं. यह डेटाबेस हिमालय और पश्चिमी घाट में भारत के 17 राज्यों और 2 केंद्र शासित प्रदेशों में भूस्खलन-संवेदनशील क्षेत्रों को शामिल करता है. इसरो द्वारा भूस्खलन पर किए गए जोखिम अध्ययन के मुताबिक उत्तराखंड के 2 जिले देश के 147 संवेदनशील जिलों में टॉप पर हैं.


Rashifal 9 March 2023: इन तीन राशियों के जीवन में होने वाला है बड़ा बदलाव, अच्छा या बुरा यहां पढ़ें, जानें मेष से लेकर मीन तक का हाल


पहाड़ी इलाकों में किया गया विश्लेषण
भूस्खलन जोखिम विश्लेषण पहाड़ी इलाकों में किया गया था. उत्तराखंड राज्य में रुद्रप्रयाग जिला जहां भारत में सबसे अधिक भूस्खलन घनत्व है वहां कुल आबादी, कामकाजी आबादी, साक्षरता और घरों की संख्या भी सबसे ज्यादा है. बता दें कि देश के शीर्ष 10 जिले जो भूस्खलन से सबसे अधिक प्रभावित हैं, उनमें से 2 जिले सिक्किम के भी हैं- दक्षिण और उत्तरी सिक्किम. साथ ही 2 जिले जम्मू-कश्मीर और 4 जिले केरल के हैं.



प्रदेश के कई जिलों में खाली कराए गए मकान
इन दिनों उत्तराखंड सरकार के लिए जोशीमठ अब भी एक बड़ी चुनौती के रूप में तैयार है. जोशीमठ सहित उत्तराखंड के अलग-अलग इलाकों में जमीन दरकने के कई मामले सामने आ चुके हैं. इसकी शुरुआत जोशीमठ से हुई थी, जिसके बाद कर्णप्रयाग में भी इस तरह की घटनाएं देखी गईं.  


अभी हाल ही में ब्रद्रीनाथ हाईवे के पास स्थित ITI क्षेत्र के बहुगुणा नगर और सब्जी मंडी के ऊपरी हिस्सों में भी दरारें दिखने की बात सामने आई थी. जोशीमठ संकट से जूझ रहे लोग जोशीमठ में जमीन धंसने और मकानों की दीवारें दरकने के बाद अब जोशीमठ-बद्रीनाथ हाईवे पर दरारें देखी गई हैं. हाईवे के पांच स्थानों पर ये दरारें देखी गई हैं. नई दरारें दिखने के बाद बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन (BRO) ने इसकी सूचना जारी की है. 


चार धाम यात्रा से पहले सरकार के लिए बड़ी चुनौती
State सरकार के लिए एक बड़ी चुनौती यह भी है कि जल्द ही उत्तराखंड की चार धाम यात्रा शुरू होने वाली है. ऐसे समय में भूस्खलन का यह आंकड़ा सामने आना सरकार की चिंता बढ़ाएगा. चारधाम यात्रा के लिए जाने वालों के लिए रुद्रप्रयाग जिला वैसे भी एक अहम कड़ी है.


WATCH: सपा नेता रामगोपाल यादव का दावा- 'अतीक के एक बेटे का एनकाउंटर होगा'