वाराणसी: बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के छात्र शिव कुमार त्रिवेदी की गुमशुदगी के मामले में वाराणसी एसएसपी ने बड़ी कार्रवाई करते हुए 8 पुलिस कर्मियों को लाइन हाजिर कर दिया है. लंका थाने के वरिष्ठ उप निरीक्षक, उप निरीक्षक सहित 3 कांस्टेबल लाइन हाजिर किए गए हैं. इसके अलावा एफआईआर न लिखने की शिकायत पर भेलुपुर प्रभारी निरीक्षक, बजरडीहा चौकी इंचार्ज और कांस्टेबल लाइन हाजिर किए गए हैं. आपको बता दें कि फरवरी महीने में शिव कुमार त्रिवेदी को पुलिस ने हिरासत में लिया था. उसके बाद से वह लापता हैं. छह महीने बाद भी उनका कुछ पता नहीं चल सका है.


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शिवकुमार के पिता प्रदीप कुमार त्रिवेदी ​बीते कई महीनों से मध्य प्रदेश के पन्ना से बनारस आकर अपने बेटे को खोज रहे हैं. वह बताते हैं कि उनका बेटा शिव बीएचयू में बीएससी सेकंड ईयर का छात्र है. बीते 13 फरवरी को सुबह 8.30 बजे पुलिस उसे ले गई थी, उसके बाद से ही शिव का कुछ पता नहीं है. प्रदीप कुमार त्रिवेदी ने 16 फरवरी को लंका थाने में शिव कुमार के गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखाई. थाने से शिव के पिता को अपने बेटे के बारे में कोई डिटेल नहीं मिली. वह एसपी प्रभाकर चौधरी के पास गए. तब लंका थाने ने उन्हें बताया कि शिव कुमार त्रिवेदी यहां पर था, उसे छोड़ दिया गया था.


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सोशल मीडिया के जरिए बेबस पिता का दु:ख पता चला तो बीएचयू लॉ फेकल्टी के एक पूर्व छात्र और वकील सौरभ तिवारी ने इलाहाबाद हाई कोर्ट में पीआईएल दाखिल की. बीते 25 अगस्त को इलाहाबाद हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश गोविंद माथुर और सौमित्र दयाल सिंह की खंडपीठ ने जनहित याचिका पर पहली सुनवाई की. सौरभ तिवारी ने लापता छात्र के पिता प्रदीप कुमार त्रिवेदी का पक्ष कोर्ट के सामने रखा. मुख्य न्यायाधीश गोविंद माथुर ने सरकारी वकील को फटकार लगाते हुए कहा था कि पूरा थाना लाइन हाजिर कर दूंगा और अगर जरूरी हुआ तो मामले की जांच सीबीआई को सौंपी जाएगी. इस मामले में अगली सुनवाई 3 सितंबर को होनी है.


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