Who is Kajal Hindustani: गुजरात के वडोदरा में रामनवमी पर बवाल के बाद ऊना में भी तनावपूर्ण स्थिति बनी हुई है. ऊना में तनाव के पीछे रामनवमी के दिन भड़काऊ भाषण कारण बताया जा रहा है. भड़काऊ भाषण देने का आरोप काजल हिन्दुस्तानी पर लगा है. आरोप है कि सस्ती लोकप्रियता हासिल करने के लिए काजल हिन्दुस्तानी लोगों के बीच नफरत फैला रही है. अचानक से सुर्खियों में आई काजल हिन्दुस्तानी ने ऊना में विश्व हिन्दू परिषद के सम्मेलन में हिस्सा लिया था. लोगों का आरोप है कि इस सम्मेलन में काजल ने भड़काऊ भाषण दिए और लोगों में सांप्रदायिक तनाव बढ़ने लगा. तनाव इतना बढ़ा कि प्रशासन को भीड़ को शांत करने के लिए पूरा दम झोंकना पड़ा.


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लोकप्रियता के लिए सस्ती राजनीति..!


लोगों ने आरोप लगाया है कि काजल हिन्दुस्तानी ने समुदाय विशेष पर हमला बोलते हुए नफरती बातें की. जिसके बाद सांप्रदायिक तनाव बढ़ने लगा. इस बवाल के बाद से काजल हिन्दुस्तानी का नाम लगातार सुर्खियों में बना हुए है. आपको बता दें कि काजल हिन्दुस्तानी का असली नाम काजल सिंगला है. वह विश्व हिंदू परिषद के सम्मेलन में शामिल होने के बाद से चर्चा का विषय बनी हुई है. अब समाज का एक वर्ग काजल की गिरफ्तारी की मांग कर रहा है. आइये आपको बताते हैं काजल हिन्दुस्तानी ने विश्व हिन्दू परिषद के सम्मेलन में क्या कहा और कैसे यह सांप्रदायिक तनाव प्रशासन के लिए नासूर सा बन गया.


धर्म की आड़ में फल-फूल रहे नफरत के सौदागर 


पहले आपको बता दें कि जब भी किसी धर्म विशेष का कोई आयोजन होता है, तो आस्था के नाम पर नफरत का जहर घोलने वाले गिद्ध सी नजर लगाए रहते हैं. मौका मिलते ही ये नफरत की बीज बोने से बाज नहीं आते. हिन्दुओं का पर्व रामनवमी हो या फिर शिवरात्रि.. बीते कुछ सालों से बिना दंगे फसाद के इन पावन पर्वों का समापन नहीं होता. कुछ स्वघोषित हिन्दू प्रवक्ता और इस्लाम के प्रचारक धर्म की आड़ में लोगों में नफरत फैलाने का काम करते ही हैं. ऊना और वडोदरा में जो हुआ इस ओछी हरकत का जीता-जागता उदाहरण है. दुर्भाग्य है कि देश की शांति और अस्मिता से खिलवाड़ करने वाले ऐसे लोगों का कुनबा बढ़ता जा रहा है. काजल हिन्दुस्तानी पर भी ऐसे ही आरोप लग रहे हैं.


क्या हुआ था ऊना में?


गुजरात के गिर सोमनाथ जिले के ऊना कस्बे में एक अल्पसंख्यक समुदाय को निशाना बनाकर कथित रूप से नफरत फैलाने वाले भाषण दिये जाने के बाद सांप्रदायिक तनाव फैल गया. अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी. बाजार बंद रहे, जबकि पुलिस पिछले कुछ दिनों से सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाये जाने की घटना पर कड़ी नजर रखे हुए है और दोनों समुदायों के नेताओं के साथ मिल-बैठकर तनाव कम करने का प्रयास किया जा रहा है.


काजल हिन्दुस्तानी फसाद की जड़?


पुलिस ने बताया कि बृहस्पतिवार को विश्व हिंदू परिषद की ओर से आयोजित एक हिंदू सम्मेलन में एक राजनीतिक और सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में अपनी पहचान बताने वाली काजल हिंदुस्तानी ने एक धार्मिक समुदाय के सदस्यों को निशाना बनाया था, जिसके बाद से शहर में तनाव बढ़ गया है. पुलिस अधीक्षक श्रीपाल शेषमा ने कहा कि पुलिस और स्थानीय नेताओं ने शनिवार को दोनों समुदायों के प्रतिनिधियों वाली शांति समिति की बैठक बुलाई और उनसे स्थिति सामान्य करने की दिशा में काम करने की अपील की.


काजल ने सांप्रदायिक तनाव को जन्म दिया?


पुलिस अधीक्षक ने कहा, 'रामनवमी (30 मार्च) पर, काजल हिंदुस्तानी ने ऊना के एक कार्यक्रम में अपने भाषण के दौरान एक समुदाय के बारे में अनुचित बातें कहीं, जिससे (सांप्रदायिक) तनाव पैदा हो गया. हमने दोनों समुदायों के लोगों की शांति समिति की बैठक बुलाई.'


काजल हिन्दुस्तानी पर कार्रवाई..


शिकायकत मिलने के बाद काजल हिन्दुस्तानी के खिलाफ नफरत फैलाने वाले भाषण के लिए मामला दर्ज किया गया है. पुलिस ने सांप्रदायिक झड़प के बाद दंगे के आरोप में 50 से अधिक लोगों को हिरासत में लिया है. पुलिस अधीक्षक (एसपी) श्रीपाल शेषमा ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘हमने दो प्राथमिकी दर्ज की हैं. एक काजल हिंदुस्तानी के खिलाफ नफरती भाषण के लिए, दूसरी दंगा करने के लिए भीड़ के खिलाफ.’’


 


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(एजेंसी इनपुट के साथ)