Who is Monu Manesar: हरियाणा के नूंह में सोमवार को दंगाइयों ने शहर में हिंसक तांडव (Nuh Violence) किया और गोलियां चलाने के अलावा पत्थर फेंके और जगह-जगह आगजनी की. नूंह से शुरू हुई हिंसा अब हरियाणा के कई शहरों तक पहुंच गई है और गुरुग्राम, रेवाड़ी के अलावा पलवल सांप्रदायिक हिंसा (Communal Violence) की आग में जल उठे हैं. इस हिंसा के बीच मोनू मानेसर (Monu Manesar) का नाम सामने आ रहा है, जिसका संबंध हरियाणा में हुई सांप्रदायिक हिंसा से जोड़ा जा रहा है.


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कौन है मोनू मानेसर?


मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मोनू मानेसर (Monu Manesar) का असली नाम मोहित यादव है और वह बजरंग दल का सदस्य है. हरियाणा के मानेसर में रहने वाले मोनू की उम्र 28 साल है और पॉलिटेक्निक कॉलेज से डिप्लोमा किया है. मोनू की आय का जरिया किराया है. मोनू के पिता ड्राइवर थे और बस के अलावा डंपर चलाते थे. मोनू हरियाणा के मेवात (Mewat) क्षेत्र में गोरक्षकों का प्रमुख चेहरा है. मोनू मानेसर अपने साथियों के साथ मिलकर गो-तस्करी रोकने के लिए काम करने का दावा करता है और गो-तस्करी विरोधी अभियानों को लेकर पहले भी सुर्खियों में रहा है.


कुछ महीने मोनू मानेसर (Monu Manesar) का नाम मेवात से सटे राजस्थान के भरतपुर के नासिर और जुनैद की हत्याकांड में सामने आया था. मोनू पर नासिर और जुनैद का अपहरण करके उनकी हत्या करने का आरोप लगा था और इसके बाद से ही पुलिस को मोनू की तलाश है. हालांकि, मोनू का कहना है कि वारदात वाले दिन वह गुरुग्राम में था और इस हत्याकांड से उसका कुछ लेना देना नहीं है.


यूट्यब पर भी फेमस है मोनू मानेसर


मोनू मानेसर (Monu Manesar) यूट्यूब पर भी काफी फेमस है और फेसबुक पर उसे 83 हजार लोग फॉलो करते हैं, जबकि यूट्यूब पर उसके 2.05 लाख सब्सक्राइबर हैं. वह अक्सर अपने यूट्यूब चैन पर गोरक्षा के जुड़े वीडियो शेयर करता रहता है. हाल ही में मोनू मानेसर ने एक वीडियो जारी कर नूंह में वीएचपी के बृजमंडल यात्रा में शामिल होने का ऐलान किया था और  ज्यादा से ज्यादा लोगों से इस यात्रा में आने की अपील की थी.


हरियाणा की हिंसा से क्या है मोनू का संबंध?


बृजमंडल शोभायात्रा में शामिल होने के मोनू मानेसर (Monu Manesar) के ऐलान के बाद से ही तनाव शुरू हो गया था. हालांकि, वीएचपी ने सोनू का यात्रा में आने से मना किया था, लेकिन इसके बावजूद  मोनू के यात्रा में शामिल होने की अफवाह फैल गई और दोनों पक्षों ने एक दूसरे को चुनौती और धमकी देना शुरू कर दिया. इसके साथ ही वीडियो देखकर राजस्थान के भरतपुर पुलिस की टीम भी मोनू मानेसर को पकड़ने के लिए नूंह पहुंची थी, लेकिन उसे खाली हाथ ही लौटना पड़ा क्योंकि मोनू यात्रा में शामिल नहीं हुआ.


गुड़गांव-रेवाड़ी तक पहुंची हिंसा की आग


हरियाणा में हिंसा की आग अभी भी बुझी नहीं है. नूंह में सोमवार को शुरू हुआ बवाल का असर मंगलवार को गुरुग्राम में देखने को मिला और उपद्रवियों ने गुरुग्राम के सेक्टर 70 में कबाड़ के गोदाम में आग लगा दी. आग पर काबू पाने में फायर ब्रिगेड को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी. गुरुग्राम में ये हालात तब है, जब धारा 144 लगी हुई है. इसके अलावा बादशाहपुर और पटौदी चौक पर भी बवाल हुआ और भीड़ ने कई दुकानों में तोड़फोड़ की, आग लगाई और मौके से फरार हो गए. गुरुग्राम की तरह ही रेवाड़ी में भी हिंसक भीड़ ने उत्पात मचाया. यहां दुकान और रेस्टोरेंट में जमकर तोड़फोड़ की गई.


पुलिस ने जानकारी देते हुए बताया कि हिंसा में अब तक मरने वालों की संख्या बढ़कर चार हो गई है. पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि नूंह में हुई हिंसा में 10 पुलिसकर्मियों सहित 50 से अधिक लोग घायल भी हुए हैं. हरियाणा में तनाव बना हुआ है और इस पर कंट्रोल करने की कवायद भी जारी है. हिंसा ज्यादा ना भड़के और हालात काबू में किए जा सकें, इसके लिए पुलिस लगातार दावे कर रही है. फ्लैग मार्च भी किया जा रहा है और लोगों से शांति बनाए रखने की अपील भी पुलिस के अफसरों ने की है.