Red Radish Farming: आज के समय में सीजन की सब्जियां दूसरे मौसम में भी बाजार में अवेलेबल रहती हैं. हालांकि, कुछ सब्जियां और सलाद सर्दियों में ही ज्यादा अच्छी लगती हैं. इन्हीं में से एक है मूली, जिसका इस्तेमाल सलाद, सब्जी और अचार आदि बनाने में किया जाता है. सर्दी के मौसम में बाजार में ढेर सारी मूली दिखने लगती है. अब तो सफेद मूली के साथ-साथ लाल मूली भी देखी जा सकती है. इसे फ्रेंच मूली कहते हैं, जिसे लोग हाथों-हाथ खरीदते हैं.


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ऐसा इसलिए क्योंकि यह मूली दिखने में काफी सुंदर होती है, खासतौर पर सलाद में इससे एक अलग ही लुक आता है. वहीं, इसके हेल्थ बेनिफिट्स भी बहुत ज्यादा है. ऐसे में अगर आप किसान हैं तो आप लाल मूली की खेती (Red Radish Farming) कर सकते हैं, क्योंकि इस खेती से आपको सफेद मूली की तुलना में ज्यादा मुनाफा होगा. ऐसा इसलिए क्योंकि इसकी मांग ज्यादा होने के चलते इसकी कीमत भी अच्छी मिलती है.  आइए जानते हैं कि लाल मूली की खेती कैसे की जाती है...


ऐसे होती है लाल मूली की खेती
 फ्रेंच मूली की खेती के लिए बलुई दोमट मिट्टी की जरूरत होती है. सबसे पहले खेत को दो से तीन बार जोत कर मिट्टी को अच्छे से भुरभुरा कर लेना चाहिए. मेड़ बनाकर लाल मूली की खेती करने से बढ़िया पैदावार मिलती है. मूली की बुआई से पहले खेत में पर्याप्त मात्रा में गोबर की खाद का इस्तेमाल करना जरूरी है. आप इसके बदले वर्मी कंपोस्ट का भी उपयोग कर सकते हैं. ऑर्गेनिक खाद का इस्तेमाल करने से उत्पादन अच्छा होता है. इसकी खेती से आप प्रति एकड़ 54 क्विंटल तक की उपज प्राप्त कर सकते हैं


इस समय होती है इसकी खेती
इसकी खेती के लिए सबसे सही मौसम सर्दियों का माना जाता है. सितंबर से लेकर फरवरी तक इसकी बुआई की जा सकती है. वहीं, अगर आपको बढ़िया मुनाफा कमाना है तो आप पॉलीहाउस या लो टनल टेक्नीक को अपनाकर मूली की खेती कर सकते हैं.


लाल मूली की खेती के लिए आप उन्नत किस्म के बीजों का ही इस्तेमाल करें. आप ऑनलाइन तरीके से फ्रेंच मूली के अच्छी क्वालिटी के बीज मंगवा सकते हैं. भारत में लाल मूली की पूसा मृदुला किस्म तैयार की गई है. फसल लगभग 50-60 दिनों में हारवेस्टिंग के लिए तैयार हो जाती है. 


लाल मूली के फायदे
लाल मूली की खेती से किसानों को कम लागत में तगड़ा प्रॉफिट मिलता है. इसके अलावा यह सेहत के लिए फायदेमंद बहुत है. लाल मूली की तगड़ी डिमांड इसलिए रहती है, क्योंकि इसमें एंटीऑक्सीडेंट और कैंसर रोधी गुण पाए जाते हैं. हालांकि, यह स्वाद में हल्की तीखी होती है, लेकिन बेहद पौष्टिक होती है. ज्यादातर लोग तो सिर्फ इसलिए इसका इस्तेमाल करते हैं क्योंकि लाल मूली दिखने में अच्छी होती है. 


कम लागत लगाकर मिलेगा अधिक लाभ
कम किसानों द्वारा लाल मूली की खेती करने के कारण आज भी ये बाजार में कम ही उपलब्ध होती है. ऐसे में अगर आप इसकी खेती करते हैं तो सामान्य मूली से ज्यादा मुनाफा मिलेगा. बाजार में सफेद मूली अधिकतम 50 रुपये प्रति किलो में मिलती है. वहीं, एक किलो लाल मूली की कीमत 500 से 800 रुपये प्रति किलो तक पहुंच जाती है.