Imran Khan Vs Shehbaz Sharif: पाकिस्तान (Pakistan) की आर्थिक, सामाजिक और राजनीतिक हालत लगातार बद से बद्तर होती जा रही है. इस बीच पाकिस्तान के पूर्व पीएम और पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) के नेता इमरान खान (Imran Khan) ने कहा है कि पाकिस्तान की सेना उनकी विपक्षी पार्टी को अगला चुनाव जीतने से रोकना चाहती है. दरअसल पाकिस्तानी सेना (Pakistan Army) ने मीडिया पर अघोषित और अपरोक्ष सेंशरशिप लगा दी है जिसके बाद अपने देश की मीडिया के फोकस से आउट हुए खान ने विदेशी मीडिया हाउस से बात करते हुए अपने एक इंटरव्यू में प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (Shehbaz Sharif) की सरकार और पाक फौज (Pak Fauj) पर जमकर भड़ास निकाली है.


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कमजोर सरकार चाहती है फौज: खान


लाहौर स्थित अपने घर में ब्लूमबर्ग को दिए एक इंटरव्यू में खान ने कहा कि पाकिस्तानी फौज मुल्क में एक कमजोर सरकार चाहती है. इसलिए वो भ्रष्टाचार के आरोप में गले तक डूबे लोगों की पर्दे के पीछे से मदद कर रही है. खान ने आरोप लगाया कि पाकिस्तान सरकार और सेना अगले चार महीने में उन्हें और उनकी पार्टी पीटीआई का नामोनिशान मिटा देना चाहती है. इस आरोप के पक्ष में उन्होंने अपने समर्थकों की गिरफ्तारियों और खुद की गिरफ्तारी के दौरान उनके साथ हुए सलूक का हवाला दिया.


'इमरान की टीआरपी सबसे हाई'


मई में खान की गिरफ्तारी के बाद भड़की हिंसा और आगजनी को लेकर जहां पाकिस्तान की सरकार और सेना उन्हें विलेन घोषित करने पर तुली हुई है, दूसरी ओर पिछले साल संसद में बहुमत खोने और कुर्सी जाने के बावजूद नेताओं की पॉपुलैरिटी के मामले में इमारन खान सबसे आगे चल रहे हैं. मौके की इस नजाकत को समझते हुए इमरान अपने समर्थकों और PTI कार्यकर्ताओं की हिंसा में भूमिका को नकारने के साथ सरकार पर एजेंसियों के दुरुपयोग का आरोप लगा रहे हैं.


पीटीआई को मिटाने के बाद आएगी चुनावी तारीख


उन्होंने ये भी कहा ‘ सब लोग ये माहौल बनाने पर तुले हैं पीटीआई खत्म हो गई है इसलिए वो अब चुनाव नहीं जीत पाएगी. एक बार जब जैसे ही उन्हें इसका इनपुट मिलेगा तब वो चुनावों की तारीख घोषित कर देंगे.’ हालांकि शहबाद शरीफ के किसी भी मंत्री या सेना के प्रवक्ता ने इमरान खान के इन आरोपों पर कोई रिएक्शन नहीं दिया है. हालांकि दोनों पक्ष इमरान खान के समर्थकों के प्रदर्शन को आतंकवादी घटना बता चुके हैं.