भगवान की पूजा का पाना चाहते हैं पूरा फल तो रखें दीपक की बाती का खास ख्याल, तभी पूर्ण होगी हर कामना
Deepak bati niyam: दीपक की बाती दो प्रकार की होती है एक गोल और एक लंबी. दोनों की बाती को जलाने का अलग महत्व है. किस भगवान के सामने किस तरह की बाती जलानी है आइए जानें
Deepak Jalane Ke Niyam: हिंदू धर्म में पूजा-पाठ के दौरान दीपक जलाने का नियम है. कहते हैं इसके बिना पूजा अधूरी मानी जाती है. किसी भी मांगलिक कार्य या धार्मिर अनुष्ठानों में भी अग्निदेव को पूजा जाता है. कहते हैं कि जिस घर में रोजाना पूजा-पाठ होता है और दीपक जलाया जाता है उस घर में हमेशा सुख-शांति, समृद्धि बनी रहती है. ऐसे घर में नकारात्मकता प्रवेश नहीं करती.
दीपक जलाने के लिए हम घी, सरसों का तेल आदि जैसे अन्य तेल का इस्तेमाल करते हैं उसी तरह भगवान के सामने दीपक जलाते समय बाती का उपयोग करते हैं. बाती दो प्रकार की होती है एक गोल और एक लंबी. दोनों की बाती को अलग-अलग समय पर जलाया जाता है यानी किस भगवान के सामने किस तरह की बाती जलानी है इसका अलग महत्व होता है. तो आइए जानते हैं कि भगवान के सामने किस तरह की बाती जलानी चाहिए
गोल बाती का दीपक
गोल बाती को फूल बाती भी कहते हैं. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार गोल बाती का उपयोग भगवान विष्णु, ब्रम्हा, शिव, इंद्र, तुलसी के सामने किया जाता है. यानी इन भगवान के सामने हमेशा गोल बाती का प्रयोग करना चाहिए जिससे ये व्यक्ति की हम मनोकामना पूरी करते हैं और घर में सुख-शांति औक खुशहाली आती है. वहीं तुलसी मां के सामने भी गोल बाती का प्रयोग होता है कहते हैं इससे घर में स्थिरता आती है और मां लक्ष्मी का आगमन होता है.
लंबी बाती
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार लंबी बाती का प्रयोग लक्ष्मी मां, सरस्वती और अन्य देवी मां के पूजन में किया जाता है. इसके अलावा कुल देवता की पूजा और आंवले के पेड़ के नीचें भी लंबी बाती का दीपक जलाना चाहिए. वहीं अमावस्या और पितरों के सामने भी लंबी बाती का दीपक जलाना चाहिए.
लक्ष्मी मां के सामने लंबी बाती का दीपक जलाने से घर में धन की वृद्धि होती है. वहीं पितरों के सामने लंबी बाती का दीपक जलाने से उनका विशेष आशीर्वाद प्राप्त होता है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)