इस्तांबुल: तुर्की के इस्तांबुल शहर में तब बवाल मच गया जब एक पोस्टर में इस्लाम के पवित्र धार्मिक स्थल काबा को लेस्बियन, गे, बायसेक्सुअल और ट्रांसजेंडर (LGBT) कम्युनिटी के सात रंगों के झंडे के साथ दिखाया गया. इसके बाद लोग भड़क गए और पोस्टर बनाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग करने लगे.


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बता दें कि तुर्की (Turkey) के इस्तांबुल में बोगाजिशी यूनिवर्सिटी के 4 छात्रों ने इस्लाम (Islam) के पवित्र धार्मिक स्थल काबा के पोस्टर को बनाया. उन्होंने इस पोस्टर में काबा के साथ लेस्बियन, गे, बायसेक्सुअल और ट्रांसजेंडर (LGBT) कम्युनिटी के सात रंगों के झंडे को भी दिखाया. जिससे तुर्की में बड़ी संख्या में लोग नाराज हो गए.


बोगाजिशी यूनिवर्सिटी में LGBT छात्रों का प्रदर्शन


जान लें कि इस्तांबुल की बोगाजिशी यूनिवर्सिटी में LGBT कम्युनिटी के छात्र काबा (Kaaba) के विवादित पोस्टर के साथ शनिवार को प्रदर्शन कर रहे थे. उस दौरान ये पोस्टर सोशल मीडिया पर वायरल हो गया. जिसके बाद इस्तांबुल पुलिस ने प्रदर्शन करने वाले और विवादित पोस्टर बनाने वाले चारों छात्रों को हिरासत में ले लिया.


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गर्वनर ने कहा- 'ये पोस्टर इस्लाम का अपमान'


इस घटना पर इस्तांबुल के गर्वनर के ऑफिस की तरफ से बयान जारी करके कहा गया कि इस्लाम के पवित्र काबा का पोस्टर LGBT कम्युनिटी के झंडे के साथ बनाना हमारे धर्म पर हमला है. इससे धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंची है.


बीबीसी के मुताबिक, तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तैय्यप एर्दोगान के मुख्य सलाहकार इब्राहिम कालीन ने कहा कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और प्रदर्शन करने से अधिकार के नाम पर इस्लाम का अपमान करने वाले पोस्टर को सही नहीं ठहराया जा सकता है. ऐसा करने वालों को कानून सजा देगा.


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इस्लाम धर्म में पवित्र माने जाने वाले काबा का पोस्टर LGBT कम्युनिटी के झंडे के साथ बनने के बाद तुर्की के लोगों ने सोशल मीडिया पर गुस्सा जाहिर किया और आरोपी छात्रों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की.


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