Explainer : हमास से हमदर्दी पर आगबबूला इजरायल, `UN चीफ को बर्खास्त करो`, जानिए क्या है प्रोसेस
यूएन महासचिव एंटोनियो गुटरेस पर इजरायल भड़का हुआ है. इजरायल-हमास पर यूएन में चर्चा के दौरान ही राजदूत गिलाद एर्डेन ने गुटरेस के इस्तीफे की मांग की. यहां हम बताएंगे कि यूएन महासचिव को हटाने का क्या तरीका है.
Antonio Guterres News: हमास के आतंकी हमले के बाद इजरायल के तेवर हर दिन तल्ख होते जा रहे हैं. बेंजामिन नेतन्याहू सरकार ने पहले ही साफ कर दिया है कि निर्णायक जंग जारी रखेंगे. जंग का अंत तभी होगा जब हमास को पूरी तरह खत्म कर देंगे. इन सबके बीच संयुक्त राष्ट्र महासंघ के सचिव एंटोनियो गुटरेस की एंट्री होती है. यूएन जिस मकसद से बना था उसके मुताबिक उन्होंने बयान दिया लेकिन इजरायल को बयान पसंद नहीं आया. इजरायल ने सीधे सीधे उनके इस्तीफे की मांग की. यहां हम आपको तीन खास प्वाइंट्स के बारे में बताएंगे. पहला यह कि गुटरेस ने क्या कहा था. गुटरेस के बयान के बाद इजरायल ने क्या कहा और इन सबके बीच यूएन महासचिव को हटाने का क्या तरीका है.
गुटरेस के इस बयान पर भड़का इजरायल
यूएन महासचिव एंटोनियो गुटरेस ने युद्धविराम की वकालत और अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानूनों का सम्मान की बात कही थी. जब वो इस तरह का बयान दे रहे थे तो वो गाजा पट्टी में निर्दोष फिलिस्तीनी नागरिकों की मौत का जिक्र कर रहे थे. वो यह इजरायल से कहना चाह रहे थे कि आखिर हमास के साथ जारी लड़ाई का असर निर्दोष नागरिकों पर क्यों पड़े. कोई भी पक्ष अंतरराष्ट्रीय कानून से ऊपर नहीं है. अगर आप गाजा के हालात को देखें तो भयावह स्थिति बनी हुई है. लोगों के सामने बुनियादी चीजों का अभाव है. लड़ाई की वजह जो भी हो लेकिन जो इस समय कुछ सामने नजर आ रही है उसे नजरंदाज नहीं किया जा सकता है.
इजरायली राजदूत ने क्या कहा
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में इजरायल और हमास के बीच जंग पर चर्चा हो रही थी. चर्चा के दौरान इजरायल के राजदूत गिलाद एर्दान ने कहा कि जिस तरह से गुटरेस ने इस मुद्दे पर अपनी समझ दिखाई है. उससे साफ है कि वो इस पद पर बने रहने के लिए उपयुक्त नहीं है. वो उनसे तुरंत इस्तीफे की बात करते हैं. सच तो यह है कि इस तरह के लोगों से बातचीत करने का कोई अर्थ नहीं रह जाता. ऐसे लोग जो इजरायली और यहुदियों के प्रति अत्याचार करने वालों के लिए संवेदना जताते हैं उनसे बात करने कोई मतलब नहीं रह जाता.
इजरायली राजदूत ने कहा कि हमारे देश पर रॉकेट से हमले किए जा रहे हैं. इन सबके बीच यूएन महासचिव के बयान से साफ है कि उन्हें उस इलाके की वास्तविक हालात के बारे में जानकारी नहीं है, वो पूरी तरह अनजान हैं. हमास का हमला यूं ही नहीं हो गया था. उनके बयान का सीधा अर्थ यह है कि वो आतंकवाद और हत्या से सहानुभूति नजर आता है. यह बड़े दुख की बात है कि इजरायल के दुख दर्द को वो भूल गए.
यूएन महासचिव को हटाने का तरीका
अब यहां एक सवाल यह है कि अगर कोई देश संयुक्त राष्ट्र के महासचिव से इस्तीफे की मांग करे तो क्या उसे इस्तीफ देना होगा. इस सवाल का सामान्य सा जवाब है कि कोई भी पदासीन शख्स अपने पद से इस्तीफा दे सकता है. हालांकि जब कोई देश इस तरह की मांग करता हो तो प्रक्रिया अलग होती है.संयुक्त महाराष्ट्र के महासचिव का कार्यकाल पांच साल की अवधि के लिए होता है. यूएन चार्टर के आर्टिकल 97 के मुताबिक सुरक्षा परिषद की सिफारिश पर जनरल असेंबली नियुक्ति करता है. जाहिर सी बात है कि जब यूएन महासचिव के चयन प्रक्रिया में सुरक्षा परिषद की सिफारिश की अहम भूमिका होती है तो उन्हें पद से हटा पाना इतना आसान नहीं है.