नई दिल्ली. Vastu Tips हमारे शास्त्रों में शंख का हमेशा से ही बहुत महत्व रहा है. किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत शंख बजाकर की जाती है. कहा जाता है कि शंख में देवताओं का वास होता है. आज हम आपको पूजा घर में रखें जाने वाले शंख के बारे मे कुछ महत्वपूर्ण बाते बताने जा रहे हैं. वास्तु शास्त्र में शंख स्थापना पर विशेष जोर दिया गया है. 


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पूजा करते समय शंख को हमेशा दाहिनी ओर रखना चाहिए. पूजा करने से पहले शंख को धोना चाहिए. इसके बाद 'ओम सुदर्शनास्त्राय फतु' मंत्र का जाप करना चाहिए. शंख को इस प्रकार रखना चाहिए कि उसका खुला भाग ऊपर की ओर तथा चोंच अपनी ओर रहे. इसके बाद शंख में प्रणव मंत्र अर्थात 'ॐ' कहकर चंदन लगाना चाहिए. ऐसे में पूजा के लिए रखा शंख घर में सुख-सौभाग्य लाएगा.


शंख को घर में रखने से वास्तु दोषों से मुक्ति मिलती है साथ ही धन और आरोग्यता भी मिलती है. अगर आपके घर के किसी हिस्से में वास्तु दोष है तो उस कोने में शंख रखने से वास्तु दोष दूर होता है. आपको बता दें, शंख आमतौर पर तीन प्रकार के होते हैं- दक्षिण वृत्ति शंख, मध्यमव्रुति शंख और वामावर्ती शंख.


दक्षिण वर्त शंख 
हमेशा शुभ दिन पर ही घर में शंख रखना चाहिए. इसके साथ ही आपको इस बात का भी ध्यान रखना होगा कि न तो आप अपना शंख किसी को दें और न ही किसी का शंख मांगकर लाएं. वास्तु के अनुसार पूजा घर में एक से अधिक शंख नहीं होने चाहिए, नहीं तो यह शुभ के बजाय अपशकुन होता है.


(Disclaimer: यहां दी गई सभी जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. Zee Hindustan इसकी पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर ले लें.)


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