नई दिल्लीः कोरोना वायरस ने मार्केट को शुक्रवार भी पटखनी दी. गुरुवार को बड़ी गिरावट के बाद शुक्रवार को दोहरी चोट आई है. दरअसल इसके पीछे की वजह सरकार का वह कदम है जो कोरोना वायरस की वजह से उठाया गया है. सरकार ने सभी सैलानियों के वीजा कैंसिल किए हैं जिसका शेयर बाजार पर बुरा असर पड़ा है.



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विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की ओर से कोरोना वायरस को महामारी घोषित करने के बाद सेंसेक्स और निफ्टी उबर ही नहीं पा रहे. विदेशी बाजारों से मिले निराशाजनक संकेतों से बढ़े बिकवाली के भारी दबाव में सेंसेक्स खुलते ही 3,000 अंक लुढ़ककर 29,687 पर पहुंच गया. 


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45 मिनट के लिए बाजार बंद
वहीं, निफ्टी 989 अंक टूटकर 9,059 पर खुला है. हालात को देखते हुए शेयर बाजार में लोअर सर्किट लगा दिया गया है. इसके बाद 45 मिनट के लिए के लिए कारोबार बंद कर दिया गया. गुरुवार को अमेरिकी शेयर बाजार में जबर्दस्त गिरावट देखी गई है. बेंचमार्क डाउ जोन्स 2,300 अंकों से ज्यादा फिसला, जिससे संकेत लेते हुए एशियाई बाजारों में भी गिरावट देखने को मिली.



जानकारों का कहना है कि कोरोना वायरस का डर अमेरिकी बाजार में साफ दिख रहा है. सिर्फ एक ही दिन में अमेरिकी बाजार में 10 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई है. 


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गरुवार को रहा था बुरा हाल
इससे पहले गुरुवार को भी बिकवाली के भारी दबाव के बीच सेंसेक्स 2,919 अंक गिरकर 32,778 पर बंद हुआ. निफ्टी का भी हाल कुछ ऐसा ही रहा. यहां 868 अंक की गिरावट के साथ 9,590 पर बंद हुआ. कारोबार के दौरान ऐसा भी वक्त आया जब सेंसेक्स 32493 के स्तर तक पहुंच गया था.


अभी नहीं थमेगी गिरावट
जानकार मान रहे हैं कि शेयर बाजार में गिरावट अभी खत्म नहीं हुई है. उनका मानना है कि ये गिरावट अभी आगे भी जारी रहेगी. गुरुवार को ही भारतीय रिजर्व बैंक ने कोरोना वायरस की वजह से शेयर बाजार की गिरावट को देखते हुए एक अहम घोषणा की थी जिसमें मुद्रा अदली-बदली के तहत दो अरब डॉलर के अनुबंधों की नीलामी होगी. वैसे तो इसकी पहली नीलामी सोमवार को होनी है, लेकिन अगर ये फैसला निवेशकों में कुछ भरोसा जगाने में कामयाब रहा तो आज की ट्रेडिंग पर इसका असर दिख सकता है.