घर जाने की आशा में आनंद विहार में उमड़ी भयानक भीड़ ने उड़ाई सरकार की नींद
कहते हैं कि घर वो चुंबक है जो हर किसी व्यक्ति को हमेशा अपनी ओर आकर्षित करता है. अगर घर से मीलों दूर कहीं कोई आपदा आती है तो ये आकर्षण और बढ़ जाता है. ये बात दिल्ली और उसके आसपास के क्षेत्रों में रहकर अपने घर वालों का पालन पोषण करने वाले गरीब श्रमिकों पर सटीक बैठ रही है. ये लोग लॉक डाउन की वजह से दिल्ली में फंस गए हैं.
नई दिल्ली: देश में चल रहे लॉकडाउन की सफलता के लिये सरकार लोगों से अपने घरों में रहने की अपील कर रही है. इस अपील को तार तार करने वाली खबरें दिल्ली के आनंद विहार से आ रही हैं. आनंद विहार में घर जाने की उम्मीद में हज़ारों लोगों की भीड़ जमा हो गई. इस भीड़ ने पूरी सरकार की नींद उड़ा दी है क्योंकि कोरोना वायरस का खतरा इससे बहुत बढ़ गया है. सामाजिक दूरी रखने की बात का कोई असर आनंद विहार में नजर नहीं आ रहा है. भयंकर भीड़ में अगर कोई भी कोरोना से संक्रमित हुआ तो ये पूरे देश के लिए खतरनाक होगा.
चली गई नौकरी तो गांव की ओर भागने लगे मजदूर
दिल्ली के आनंद विहार अंतरराज्यीय बस अड्डे पर शनिवार शाम पलायन करने वाले लोगों की भारी भीड़ लग गई जहां बदइंतजामी देखने को मिली. उल्लेखनीय बात ये है कि इन सभी मजदूरों को नौकरी से निकाल दिया गया है और इनके पास गगर जाने के अलावा कोई अन्य रास्ता नहीं है.
कोरोना पॉजिटिव लोगों की संख्या 1000 के करीब पहुंची
कई शहरों में हो रहा भीषण पलायन
बता दें कि पलायन सिर्फ दिल्ली-एनसीआर ही नहीं बल्कि देश के दूसरे छोटे बड़े शहरों से भी लोगों का पलायन यूं ही जारी है. चाहे वो कानपुर हो, सोनीपत हो या फिर सिरसा या आगर मालवा. ये सभी लोग आशियाना छिन जाने के कारण अपने घरों की ओर भाग रहे हैं.
आपको बता दें कि दिल्ली-एनसीआर बॉर्डर पर लाइन में खड़े एक मजदूर ने मीडिया से कहा कि खाना नहीं है, काम नहीं है, मर जाएंगे यहां. सामने आने वालीं तस्वीरें बताती हैं कि अजीब सी दहशत भर गई है इन दिलों में, अजीब सी तड़प उठी है घर पहुंच जाने की, जो जहां था, वहीं से निकल गया शहर से गावों गिरांव की ओर.
गौरतलब है कि हर दिन COVID-19 के संक्रमितों की संख्या में भी इजाफा होता जा रहा है. अभी तक देश में कोरोना की वजह से 23 लोगों की मौत हो चुकी है. जबकि संक्रमितों की संख्या बढ़कर 983 हो गई है.
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